झारखंड विधानसभा का बजट सत्र सोमवार को राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार के अभिभाषण के साथ शुरू हुआ। उन्होंने अभिभाषण में सरकार की उपलब्धियां गिनाने के साथ-साथ आने वाले दिनों की कार्य योजनाओं का उल्लेख किया।
भारतीय जनता पार्टी के विधायकों ने कहा है कि सरकार ने राज्यपाल के अभिभाषण में असत्य का पुलिंदा पेश कर राज्य की जनता को गुमराह करने का प्रयास किया है।
भाजपा के वरिष्ठ विधायक चंद्रेश्वर प्रसाद सिंह ने विधानसभा परिसर में मीडिया से बात करते हुए कहा कि संवैधानिक परंपराओं के अनुसार, राज्यपाल को अभिभाषण में वही बातें कहनी पड़ती हैं, जो सरकार की ओर से उन्हें लिखकर दिया जाता है। झारखंड की हेमंत सोरेन सरकार ने अभिभाषण के जरिए असत्य का दस्तावेज प्रस्तुत किया है। प्रदेश में लॉ एंड ऑर्डर की स्थिति बेहद खराब है, लेकिन अभिभाषण में सरकार की ओर से सुशासन की बात कही गई है।
भाजपा विधायक ने कहा कि हमलोगों ने सदन के अंदर भी राज्यपाल के अभिभाषण के जरिए असत्य दस्तावेज पेश करने पर विरोध जताया। अगर कुछ असत्य हो रहा है, तो हम उसपर अवश्य विरोध दर्ज करेंगे।
विधानसभा में भारतीय जनता पार्टी के विधायक दल का नाम अब तक तय नहीं किए जाने के संबंध में पूछे गए एक सवाल पर चंद्रेश्वर प्रसाद सिंह ने कहा कि हमारी पार्टी का एक-एक विधायक नेता प्रतिपक्ष के बराबर है। भारतीय जनता पार्टी कोई परिवारवादी पार्टी नहीं है कि किसी को भी आनन-फानन में नेता मनोनीत कर दिया जाए। हमारी पार्टी में प्रत्येक निर्णय लोकतांत्रिक प्रक्रिया से लिया जाता है। विधायक दल के नेता का नाम जल्द ही तय हो जाएगा।
पूर्व मंत्री और भाजपा के विधायक चंपई सोरेन ने भी कहा कि सरकार सदन में नेता प्रतिपक्ष नहीं होने की बात कहकर कई अहम नियुक्तियां नहीं कर रही हैं। सच तो यह है कि अगर सरकार के पास इच्छाशक्ति हो तो कहीं कोई अड़चन नहीं है।
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