लोक निर्माण एवं शहरी विकास मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने आज मंडी जिला के दारंग विधानसभा क्षेत्र में स्थित विश्व प्रसिद्ध पर्यटन एवं आध्यात्मिक स्थल पराशर में आयोजित जिला स्तरीय सरानाहुली मेले के समापन समारोह की अध्यक्षता की। इस अवसर पर उन्होंने लगभग 61.74 करोड़ रुपये की विकास परियोजनाओं का उद्घाटन एवं शिलान्यास किया, जो मुख्य रूप से सड़क एवं पुल अधोसंरचना पर केन्द्रित हैं।
उद्घाटन की गई प्रमुख परियोजनाओं में 7.09 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित कटौला-बोडांधर-कुंडाख-तिहरी-कलंग-पटौंस सड़क शामिल है। सिंह ने पंडोह में ब्यास नदी पर 24.63 करोड़ रुपये की लागत से पंडोह-शिवबदर सड़क पर बनने वाले 110 मीटर लंबे पुल की भी आधारशिला रखी। उन्होंने 11.84 करोड़ रुपये के बजट से मंडी-कामंद-कटौला-बजौरा सड़क के रखरखाव और 18.18 करोड़ रुपये की लागत से नेरी-बिहंधर सड़क के उन्नयन की भी घोषणा की।
अपने संबोधन में मंत्री ने ऋषि पराशर के मंदिर और पवित्र झील के प्रति अपनी श्रद्धा व्यक्त की, इसके आध्यात्मिक माहौल और प्राकृतिक सुंदरता पर प्रकाश डाला, जो इसे इको-टूरिज्म के लिए एक शीर्ष गंतव्य बनाते हैं। उन्होंने पर्यावरण को संरक्षित करते हुए इको-फ्रेंडली पर्यटन को बढ़ावा देने की आवश्यकता पर जोर दिया।
सिंह ने कहा कि सभी क्षेत्रों में समान विकास राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। उन्होंने जोर देकर कहा कि लोक निर्माण विभाग 150-200 से कम आबादी वाले दूरदराज के गांवों को बारहमासी सड़कों से जोड़ने के लिए काम कर रहा है और नागरिकों को ऐसी विकास परियोजनाओं के लिए स्वेच्छा से भूमि दान करने के लिए प्रोत्साहित किया।
विक्रमादित्य सिंह ने घोषणा की कि प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना (पीएमजीएसवाई) के चौथे चरण के तहत राज्य भर में करीब 1,500 किलोमीटर सड़कें बनाई जाएंगी। इनमें से पधार ब्लॉक में पांच सड़कें 26 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से विकसित की जाएंगी।
उन्होंने यह भी बताया कि केंद्र ने राज्य में पुल निर्माण के लिए लगभग 140 करोड़ रुपये मंजूर किए हैं।
ऐतिहासिक पंडोह पुल, जो पिछली बाढ़ के दौरान बह गया था, का उल्लेख करते हुए उन्होंने आश्वासन दिया कि उस स्थान पर शीघ्र ही एक नया एलिवेटेड पुल बनाया जाएगा तथा कार्य शीघ्र शुरू करने के लिए निविदा प्रक्रिया में तेजी लाई जा रही है।
मंत्री ने कहा कि पिछले साल भारी बारिश के दौरान, जब कुल्लू-मंडी फोर-लेन राजमार्ग को भारी नुकसान पहुंचा था, तब कमांद-कटौला-बजौरा सड़क एक महत्वपूर्ण वैकल्पिक मार्ग के रूप में काम आई थी। इसके महत्व को देखते हुए, उन्होंने घोषणा की कि इसके रखरखाव और सुधार के लिए 12 करोड़ रुपये आवंटित किए जाएंगे।
जनता की मांग पर प्रतिक्रिया देते हुए सिंह ने भूमि उपलब्धता के आधार पर पराशर में सामुदायिक केंद्र बनाने का प्रयास करने का वादा किया। उन्होंने सरनाहुली मेला आयोजन समिति को 51,000 रुपए का निजी योगदान भी दिया।
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