जिले में सबसे बड़ा ग्रामीण स्वच्छता सर्वेक्षण, स्वच्छ सर्वेक्षण ग्रामीण (SSG) 2025 23 जून से शुरू होगा। यह सर्वेक्षण पेयजल एवं स्वच्छता विभाग (DDWS) की एक टीम द्वारा किया जाएगा। टीम गांवों का दौरा करेगी, सफाई का निरीक्षण करेगी और निवासियों से फीडबैक लेगी। उनके निष्कर्षों के आधार पर गांवों को स्वच्छता के लिए रैंक किया जाएगा।
जिला परिषद के सीईओ डॉ. सुभाष चंद्रा ने आज पंचायत भवन में सफाई कर्मचारियों को संबोधित करते हुए यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि सभी पंचायतों को अपने-अपने गांवों में साफ-सफाई और कचरा प्रबंधन पर नियमित रूप से काम करना चाहिए, क्योंकि सर्वेक्षण का सीधा असर गांवों की रैंकिंग पर पड़ेगा। उन्होंने कहा कि सफाई कर्मचारियों का काम इस प्रयास में बड़ी भूमिका निभाएगा।
उन्होंने बताया कि ब्लॉक स्तर पर बीडीपीओ और गांव स्तर पर ग्राम सचिवों को सर्वेक्षण के लिए नोडल अधिकारी नियुक्त किया गया है। डॉ. चंद्रा ने बताया कि सर्वेक्षण के लिए कुल 1,000 अंकों में से 540 अंक टीम के फील्ड निरीक्षण के आधार पर दिए जाएंगे। उन्होंने बताया कि टीम प्रत्येक गांव में 50 घरों का निरीक्षण करेगी, जिसमें साफ-सफाई, कचरा निपटान और स्वच्छता रखरखाव पर ध्यान दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि सामुदायिक शौचालय, स्कूल, आंगनवाड़ी केंद्र और स्वास्थ्य सेवा केंद्र जैसे सार्वजनिक स्थानों का भी निरीक्षण किया जाएगा।
डॉ. चंद्रा ने कहा, “निरीक्षण में ठोस अपशिष्ट शेड, बायोगैस संयंत्र, खाद गड्ढे और तरल अपशिष्ट प्रबंधन प्रणाली भी शामिल होगी। यदि किसी गांव में जल आपूर्ति संयंत्र या सीवेज उपचार संयंत्र (एसटीपी) है, तो इनकी भी समीक्षा की जाएगी। टीम मोबाइल ऐप के माध्यम से ग्रामीणों से फीडबैक एकत्र करेगी। निवासी स्वच्छ सर्वेक्षण ग्रामीण 2025 ऐप डाउनलोड करके ऑनलाइन फीडबैक भी दे सकते हैं।” जिला अभियान समन्वयक सुखविंदर सिंह ने भी स्वच्छता कार्यकर्ताओं के साथ विस्तृत जानकारी साझा की ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि आगामी सर्वेक्षण में गांव अच्छा प्रदर्शन करें।
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