November 29, 2024
National

केरल के मंत्रियों ने की एसएफआई की सराहना, राज्यपाल खान को ठहराया दोषी

तिरुवनंतपुरम, 12 दिसंबर । प्रदर्शन कर रहे एसएफआई कार्यकर्ताओं द्वारा केरल के राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान को रोकने 12 घंटे बाद, राज्य के मंत्रियों को मंगलवार को एसएफआई की प्रशंसा की।

पुलिस ने गिरफ्तार एसएफआई कार्यकर्ताओं पर पुलिस अधिकारियों के काम में बाधा डालने जैसे मामूली आरोप लगाए।

मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन के दामाद राज्य के पर्यटन मंत्री पी.ए. मोहम्मद रियास ने कहा कि एसएफआई मुख्य रूप से कॉलेज परिसरों में चल रहे भगवाकरण के खिलाफ है और उन्हें हाथ मिलाना चाहिए।

राज्य के उद्योग मंत्री पी. राजीव ने पूछा, “क्या राज्यपाल के लिए अपनी कार से बाहर निकलना सही था।

राजीव ने कहा,“घटना पर रिपोर्ट आने के बाद ही हम चीजों का आकलन कर पाएंगे। खान और मुख्यमंत्री ने जिन घटनाओं का सामना किया, उन्हें उसी तरह से नहीं देखा जाना चाहिए। ”

वन विभाग संभालने वाले अनुभवी मंत्री ए.के. ससीन्द्रन ने कहा कि यह राज्यपाल ही थे, जिन्होंने ‘गुंडागर्दी’ का सहारा लिया।

सैंद्रन ने कहा, “वह उत्तेजक मूड में थे और एक राज्यपाल के लिए नायक की भूमिका निभाने के लिए कहानियां बुनना सही नहीं है।”

सोमवार की रात को तिरुवनंतपुरम हवाई अड्डे के रास्ते में राज्यपाल खान काले झंडे लहरा रहे एसएफआई प्रदर्शनकारियों का सामना करने के लिए अपनी कार से बाहर निकले और उन्हें अपने पास आने के लिए कहते हुए देखा गया। इसके बाद उन्होंने सीएम विजयन की आलोचना की और इसके लिए उन्हें दोषी ठहराया।

उन्‍होंने कहा,”मुख्यमंत्री मुझे शारीरिक रूप से नुकसान पहुंचाने के लिए यह साजिश रच रहे हैं जैसा उन्होंने कन्नूर में किया था। यह मुझे शारीरिक रूप से चोट पहुंचाने के लिए सीएम के निर्देश पर हो रहा है।”

नाराज खान ने कहा, “जब मुख्यमंत्री इस साजिश का हिस्सा हैं, तो यह पुलिस क्या कर सकती है।” उन्होंने कहा कि वह अपराधियों को सड़क पर शासन करने की अनुमति नहीं देंगे।

खान को अपना वाहन रोकते और प्रदर्शनकारियों को चुनौती देने के लिए बाहर निकलते देख सुरक्षा अधिकारी हैरान रह गए।

अपना आपा खोते हुए, उन्होंने पुलिस अधिकारियों से पूछा कि क्या यही वह सुरक्षा कवर है, जो उन्हें दिया गया है।

कांग्रेस और भाजपा ने तुरंत बयान जारी कर राज्य में कानून-व्यवस्था की स्थिति खराब होने की आलोचना की।

इस बीच, गवर्नर खान रात में दिल्ली के लिए रवाना हो गए, और सूत्रों के मुताबिक वह विजयन सरकार से रिपोर्ट मांगेंगे, तब भी जब केंद्रीय खुफिया ने केंद्र को अपनी रिपोर्ट सौंपने के लिए जांच शुरू कर दी है।

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