पंजाब सरकार द्वारा अधिसूचना जारी कर इन क्षेत्रों को ‘पवित्र शहर’ का दर्जा दिए जाने के बाद अमृतसर की चारदीवारी नगरी, तलवंडी साबो और श्री आनंदपुर साहिब में मांस, तंबाकू, शराब और अन्य नशीले पदार्थों की बिक्री प्रतिबंधित कर दी गई है। मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने रविवार को एक वीडियो संदेश में कहा कि सिखों के बीच पूजनीय तीन स्थानों को पवित्र शहर का दर्जा देने का निर्णय पंजाब सरकार की अधिसूचना के बाद अब प्रभावी हो गया है।
पिछले महीने, गुरु तेग बहादुर की शहादत की 350वीं वर्षगांठ के उपलक्ष्य में श्री आनंदपुर साहिब में आयोजित पंजाब विधानसभा के विशेष सत्र के दौरान सर्वसम्मति से एक प्रस्ताव पारित किया गया था। बाद में 15 दिसंबर को राज्य सरकार द्वारा एक अधिसूचना जारी कर रूपनगर जिले के श्री आनंदपुर साहिब, बठिंडा के तलवंडी साबो और अमृतसर के स्वर्ण मंदिर के आसपास के ‘गलियारा’ क्षेत्र को ‘पवित्र शहर’ का दर्जा दिया गया।
अपने वीडियो संदेश में, मान ने कहा कि सिखों के पांच ‘तख्त’ हैं, जिनमें से तीन – श्री अकाल तख्त साहिब (अमृतसर), श्री दमदमा साहिब (तलवंडी साबो, बठिंडा) और तख्त श्री केशगढ़ साहिब (श्री आनंदपुर साहिब) पंजाब में हैं। उन्होंने कहा, “पंजाब सरकार यह सुनिश्चित करने के लिए सभी आवश्यक व्यवस्थाएं करेगी और ई-रिक्शा, मिनी-बस, शटल बस और अन्य सार्वजनिक परिवहन सेवाओं सहित सुविधाएं प्रदान करेगी ताकि दुनिया भर से आने वाले श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की असुविधा न हो।”
मुख्यमंत्री ने कहा कि अब पवित्र शहरों में सख्त नियम लागू होंगे। उन्होंने कहा, “मांस, शराब, तंबाकू और किसी भी प्रकार के मादक पदार्थों की बिक्री पूरी तरह से प्रतिबंधित होगी।” उन्होंने आश्वासन दिया कि शहरों का उचित विकास होगा। “ये शहर न केवल धार्मिक केंद्र हैं बल्कि हमारी सांस्कृतिक विरासत के भी महत्वपूर्ण प्रतीक हैं। मैं पूरी सिख संगत को हार्दिक बधाई देता हूं,” मान ने कहा।
उन्होंने आगे कहा, “अधिसूचना जारी होने के साथ ही यह निर्णय प्रभावी हो गया है और इन शहरों को आधिकारिक तौर पर पवित्र शहरों का दर्जा प्राप्त हो गया है।”

