N1Live National झारखंड में ‘गजराज’ का गुस्सा : दिसंबर में पांच को कुचलकर मार डाला, 200 एकड़ से ज्यादा फसल रौंदी
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झारखंड में ‘गजराज’ का गुस्सा : दिसंबर में पांच को कुचलकर मार डाला, 200 एकड़ से ज्यादा फसल रौंदी

Anger of 'Gajraj' in Jharkhand: In December, five were crushed to death, more than 200 acres of crops were trampled.

रांची, 24 दिसंबर । झारखंड में गुस्साए हाथी तबाही मचा रहे हैं। अब तक दिसंबर महीने में हाथियों ने पांच लोगों को कुचलकर मार डाला है। इनके हमलों में कई लोग जख्मी भी हुए हैं। एक महीने में 30 से ज्यादा घरों को हाथियों ने क्षति पहुंचाई है और करीब 200 एकड़ से ज्यादा के इलाके में खड़ी फसलों को रौंद डाला है। यह आंकड़ा राज्य के विभिन्न वन प्रमंडलों में ग्रामीणों की ओर से क्षतिपूर्ति के दावे को लेकर दाखिल आवेदनों से सामने आया है।

लातेहार जिले के बालूमाथ थाना क्षेत्र के पिंडारकोन गांव निवासी गुलाब यादव को हाथियों ने सोमवार-मंगलवार की दरमियानी रात कुचलकर मार डाला। उनका शव मंगलवार को गांव के पास स्थित जंगल से बरामद किया गया। गुलाब यादव सोमवार को जंगल की ओर गए थे। वह देर तक नहीं लौटे। उनके घर वाले रातभर परेशान रहे। मंगलवार सुबह लोग जंगल पहुंचे तो गुलाब यादव का शव झाड़ी में मिला।

22 दिसंबर की रात गिरिडीह जिले के डुमरी प्रखंड अंतर्गत अतकी पंचायत में चार हाथियों के झुंड ने कई घरों पर हमला किया था। इस दौरान हाथियों ने सिकरा मांझी नामक शख्स को मार डाला था। इसके पहले 13 दिसंबर को बालूमाथ थाना क्षेत्र अंतर्गत मारंगलोईया गांव निवासी जानकी राणा को हाथियों ने कुचलकर मार डाला था। इस घटना से गुस्साए स्थानीय लोगों ने मारंगलोईया के पास कई घंटों तक सड़क जाम कर दिया था।

गढ़वा जिले के चिनिया थाना क्षेत्र अंतर्गत चपकली गांव में 21 दिसंबर की रात जंगली हाथियों के झुंड ने गोपाल यादव नामक शख्स को कुचलकर मार डाला था। गोपाल यादव अपने परिवार के साथ घर में सो रहे थे। रात करीब 2 बजे हाथियों के चिंघाड़ने की आवाज सुनाई दी तो वे बाहर निकले। वे अपने परिजनों के साथ जान बचाने के लिए भागे, लेकिन हाथियों ने गोपाल यादव को कुचल डाला।

11 दिसंबर को पश्चिमी सिंहभूम के आनंदपुर प्रखंड के ढोढरोबारु गांव में हाथियों के झुंड ने लोदरो बरजो नामक शख्स को कुचलकर मार डाला था। इसके पहले नवंबर महीने में गढ़वा जिले के रमकंडा प्रखंड के ऊपरटोला में जंगली हाथियों के उत्पात में सीताराम मोची नामक शख्स की मौत हो गई थी।

दिसंबर महीने में चतरा, लातेहार, खूंटी, हजारीबाग, गुमला, चाईबासा, गढ़वा, गिरिडीह और बोकारे जिले में 100 से भी अधिक गांवों में हाथियों ने उत्पात मचाया है। फसल कटाई के मौसम में हर साल हाथी सबसे ज्यादा तबाही मचाते हैं। राज्य सरकार की हाल की रिपोर्ट के मुताबिक झारखंड में लगभग 600 से 700 हाथियों का बसेरा है। इनकी वजह से संपत्ति और कृषि की औसत वार्षिक हानि लगभग 60 से 70 करोड़ रुपए है।

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