धनबाद, 30 अक्टूबर । क्रिमिनल्स के आतंक से त्रस्त धनबाद के कारोबारियों ने एक नवंबर से शहर के बाजारों को अनिश्चितकाल के लिए बंद करने का ऐलान किया है।यह फैसला धनबाद चैंबर्स की ओर से आयोजित जिले भर के कारोबारियों की बैठक में लिया गया है।
धनबाद के भाजपा सांसद पीएन सिंह और विधायक राज सिन्हा ने भी क्राइम कंट्रोल के मोर्चे पर पुलिस को पूरी तरह नाकाम बताते हुए आंदोलन को समर्थन दिया है। झारखंड विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष अमर बाउरी, भाजपा विधायक ढुल्लू महतो और झरिया की कांग्रेस विधायक पूर्णिमा सिंह ने भी पुलिसिंग पर सवाल उठाए हैं।
जिले के मोटर पार्ट्स व्यवसायी दीपक अग्रवाल को अपराधियों द्वारा गोली मारे जाने की घटना पर विरोध जताते हुए धनबाद के कारोबारियों ने रविवार को भी दुकानें बंद रखी थी और जिला मुख्यालय के रणधीर वर्मा चौक पर प्रदर्शन किया था।
व्यवसायियों के प्रमुख संगठन धनबाद चैंबर ऑफ कॉमर्स का कहना है कि बेखौफ-बेलगाम अपराधियों के कारण जिले में कोई भी कारोबार करना मुश्किल हो गया है। रंगदारी के लिए थ्रेट कॉल रोजमर्रे की बात है। इनकार करने पर अपराधी दुकानों-प्रतिष्ठानों पर चढ़कर गोली-बारी करते हैं और पुलिस कुछ कर नहीं पाती।
बता दें कि बीते शनिवार की रात लगभग 8.45 बजे शहर के बैंक मोड़ थाना क्षेत्र में “कार सेंटर” नामक प्रतिष्ठान के मालिक दीपक अग्रवाल (44) को अपराधियों ने गोली मार दी थी। घटना के वक्त दीपक अपनी दुकान में बैठे थे। उनकी हालत गंभीर बनी हुई है और उन्हें इलाज के लिए कोलकाता ले जाया गया है।
बताया जाता है कि दीपक को पहले से रंगदारी के लिए धमकी मिल रही थी। खौफ इस कदर था कि वह लंबे समय तक अपनी दुकान पर नहीं बैठ रहे थे। पिछले कुछ दिनों से वह दुकान आ रहे थे। अपराधियों ने घात लगाकर उन पर हमला किया। हमले में वासेपुर के कुख्यात गैंगस्टर प्रिंस खान सामने आया है। उसके गुर्गे मेजर ने पर्चा जारी कर घटना की जिम्मेदारी ली है।
पुलिस का दावा है कि गोलीबारी करने वाले अपराधियों को जल्द गिरफ्तार कर लिया जाएगा। वारदात की जांच के लिए एटीएस की टीम को लगाया गया है।
वासेपुर का कुख्यात गैंगस्टर प्रिंस खान दुबई से गैंग ऑपरेट कर रहा है। पुलिस ने पिछले छह महीनों में उसके गिरोह के कम से कम 30 लोगों को जेल भेजा है, लेकिन इसके बावजूद उसका आतंक थम नहीं रहा।
हर आठ-दस दिन में उसके गुर्गे कारोबारियों को निशाना बनाकर गोलीबारी करते हैं और फिर प्रिंस के गिरोह का मेजर नामक एक गुर्गा बकायदा पर्चे जारी कर वारदात की जिम्मेदारी लेता है।