महाराष्ट्र के पुणे में एक ट्रैफिक सिग्नल पर बीएमडब्ल्यू से उतरकर पेशाब करने का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था। इस मामले में पुलिस ने गौरव आहूजा और उसके दोस्त भाग्येश ओसवाल को गिरफ्तार किया है। दोनों को रविवार को पुणे की विशेष अवकाश अदालत में पेश किया गया, जहां से उन्हें सोमवार तक के लिए पुलिस हिरासत में भेज दिया गया।
आरोपी गौरव आहूजा के वकील सुरेंद्र अपुने ने आईएएनएस से कहा, “हमने अदालत में दलील दी कि उसका अपराध जमानत की श्रेणी में आता है। लेकिन मीडिया प्रेशर में पुलिस ने गैर-जमानती अपराध दर्ज किया था। हमने अदालत में तर्क दिया कि पुलिस ने गिरफ्तारी के आधार प्रस्तुत नहीं किए हैं। अदालत ने हमारे मुवक्किल को इस आधार पर एक दिन की पुलिस हिरासत दी है कि मामला गंभीर प्रकृति का है और इसमें आगे जांच की आवश्यकता है।”
भाग्येश ओसवाल के वकील पुष्कर दुर्गे ने कहा कि शुरू में जो धाराएं लगाई गई थीं, वे सभी जमानती थीं। बाद में एक गैर-जमानती धारा को जोड़ दी गई। हमने कोर्ट में तर्क दिया कि यह धारा हमारे मुवक्किल पर लागू नहीं होती। हमारा मुवक्किल शनिवार को अपने पिता के साथ थाने में पेश हुआ था और तब से पुलिस कस्टडी में है। हमारा कहना था कि आगे कस्टडी की जरूरत नहीं है।
उन्होंने कहा कि उनका मुवक्किल सिर्फ गाड़ी में बैठा था। उसका कोई सक्रिय योगदान नहीं था। वह गाड़ी से नीचे भी नहीं उतरा। इसलिए, उस पर कोई धारा लागू नहीं होती। इसके लिए हमने एनसीआर (नॉन-कॉग्निजेबल रिपोर्ट) की मांग की थी। साथ ही, हमने यह भी तर्क दिया कि कल जब भाग्येश ओसवाल को गिरफ्तार किया गया, तो पुलिस ने गिरफ्तारी के आधार लिखित रूप में नहीं दिए, जो देना चाहिए था।
उल्लेखनीय है कि महाराष्ट्र के पुणे में एक ट्रैफिक सिग्नल पर बीएमडब्ल्यू कार से उतरकर पेशाब करने का एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसने सोशल मीडिया पर तूफान मचा दिया था। वीडियो में आरोपी युवक के साथ उसका दोस्त भी मौजूद था, जो कार में शराब की बोतल लेकर बैठा था। युवक की इस हरकत के बाद से पुलिस ने उसकी तलाश शुरू कर दी थी। इस घटना को लेकर पुणे पुलिस ने आरोपी गौरव आहूजा को पड़ोसी जिले सतारा से गिरफ्तार किया था। पुलिस ने उसके दोस्त भाग्येश ओसवाल को भी गिरफ्तार कर लिया था।