March 12, 2025
National

कैंसर मरीजों के इलाज को लेकर केंद्र सरकार प्रतिबद्ध : प्रतापराव जाधव

Central government is committed towards treatment of cancer patients: Prataprao Jadhav

केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण राज्य मंत्री प्रतापराव जाधव ने कहा कि सरकार कैंसर मरीजों के इलाज को लेकर प्रतिबद्ध है। साथ ही सरकार कैंसर के इलाज तथा रोकथाम के लिए विभिन्न उपायों को लागू कर रही है।

राज्यसभा में एक लिखित उत्तर में मंत्री ने कहा कि सरकार टर्शरी कैंसर फैसिलिटी स्कीम को मजबूत करने पर काम कर रही है।

जाधव ने कहा, “इस पहल के तहत 19 राज्य कैंसर संस्थान (एससीआई) और 20 टर्शरी केयर कैंसर केंद्र (टीसीसीसी) को एडवांस डायग्नोस्टिक और इलाज की सुविधाएं देने के लिए मंजूरी दी गई है।”

विभिन्न ग्रामीण क्षेत्रों में कैंसर देखभाल सेवाओं को बढ़ाने के लिए केंद्र सरकार ने हाल ही में हरियाणा के झज्जर में राष्ट्रीय कैंसर संस्थान और कोलकाता में चित्तरंजन राष्ट्रीय कैंसर संस्थान का दूसरा परिसर स्थापित किया है। इसके अलावा सभी 22 नए अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थानों (एम्स) में कैंसर उपचार सुविधाओं को मंजूरी दी गई है, जो कंप्रिहेंसिव डायग्नोस्टिक (संपूर्ण निदान), चिकित्सा और सर्जिकल सेवाएं प्रदान करेंगे।

राज्य मंत्री ने कहा, “सरकार यह सुनिश्चित करती है कि इन अस्पतालों में गरीबों और जरूरतमंदों के लिए उपचार या तो मुफ्त हो या अत्यधिक सब्सिडी वाला हो, जिससे सभी को आवश्यक स्वास्थ्य सेवा सुलभ हो सके।”

इसके अलावा, कैंसर का इलाज आयुष्मान भारत-प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (एबी पीएमजेएवाई) के तहत भी कवर किया जाता है, जो प्रत्येक परिवार को सालाना 5 लाख रुपये तक की राशि प्रदान करती है।

जाधव ने कहा कि इस योजना से आबादी के निचले 40 प्रतिशत हिस्से के लगभग 55 करोड़ लोगों (12.37 करोड़ परिवार) को लाभ मिलता है।

हाल ही में, पीएम-जेएवाई को आय की परवाह किए बिना 70 वर्ष और उससे अधिक आयु के सभी वरिष्ठ नागरिकों को स्वास्थ्य कवरेज शामिल करने के लिए बढ़ाया गया था।

जाधव ने कहा, “इस योजना में 200 से अधिक पैकेज शामिल हैं, जो राष्ट्रीय स्वास्थ्य लाभ पैकेज (एचबीपी) के भीतर मेडिकल ऑन्कोलॉजी, सर्जिकल ऑन्कोलॉजी, रेडिएशन ऑन्कोलॉजी और पैलिएटिव मेडिसिन से संबंधित 500 से अधिक प्रक्रियाओं को शामिल करते हैं।”

कैंसर के उपचार को और अधिक सहायता प्रदान करने के लिए, प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि परियोजना (पीएमबीजेपी) की शुरुआत की गई है, जिसके अंतर्गत प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केंद्र (पीएमबीजेके) के नाम से समर्पित आउटलेट स्थापित किए जाएंगे।

मंत्री ने कहा, “फरवरी तक देश भर में कुल 15,057 पीएमबीजेके खोले गए हैं, जो किफायती कीमतों पर गुणवत्तापूर्ण जेनेरिक दवाइयां उपलब्ध कराते हैं।”

इस योजना में 2,047 प्रकार की दवाइयां और 300 सर्जिकल उपकरण शामिल हैं, जिनमें 87 उत्पाद विशेष रूप से कैंसर के उपचार के लिए उपलब्ध हैं। एक और पहल अफोर्डेबल मेडिसिन एंड रिलायबल इंप्लांट फॉर ट्रीटमेंट ‘अमृत’ भी है, जिसका उद्देश्य कैंसर, हृदय रोग और अन्य स्वास्थ्य स्थितियों के लिए सस्ती दवाएं प्रदान करना है।

जाधव ने कहा, “जनवरी तक 29 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में 222 फार्मेसियां हैं, जो कैंसर सहित 6,500 से अधिक दवाइयां बाजार दरों से 50 प्रतिशत तक की छूट पर उपलब्ध करा रही हैं।”

आयुष्मान आरोग्य मंदिर के माध्यम से व्यापक प्राथमिक स्वास्थ्य देखभाल की भी स्थापना की जा रही है, ताकि कैंसर रोकथाम को बढ़ावा दिया जा सके।

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