दिल्ली में आम आदमी पार्टी (आप) एक बार फिर सत्ता हासिल करने का प्रयास कर रही है। वहीं, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) लंबे इंतजार के बाद जीत का डंका बजाने की ताक में है। इस चुनाव में द्वारका विधानसभा सीट कई मायनों में बहुत अहम है। इस क्षेत्र में पिछले कुछ साल में आबादी तेजी से बढ़ी है।
द्वारका विधानसभा इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट और एनसीआर क्षेत्र में हरियाणा के मिलेनियम सिटी गुरुग्राम के नजदीक है। एक अनुमान के अनुसार, इस विधानसभा क्षेत्र में पूर्वांचल के मतदाताओं की संख्या ज्यादा है। किसी उम्मीदवार की हार-जीत में उनकी बड़ी भूमिका रहती है। इस क्षेत्र में शिक्षा, स्वास्थ्य और विकास के मुद्दे के अलावा जाम, अतिक्रमण और पानी की समस्या ज्यादा है। यहां के लोगों को आए दिन पानी की समस्या से जूझना पड़ता है।
द्वारका विधानसभा सीट से पिछले दो बार से आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार जीतते आ रहे हैं। हालांकि, इस सीट पर 2013 में भाजपा उम्मीदवार प्रद्युम्न राजपूत ने जीत दर्ज की थी। साल 2015 के चुनाव में आप उम्मीदवार आदर्श शास्त्री और 2020 के चुनाव में आप उम्मीदवार विनय कुमार मिश्रा ने द्वारका सीट पर जीत दर्ज की थी। राजनीतिक दलों के नेता जनता के बीच विभिन्न मुद्दों पर वोट मांगने जा रहे हैं।
साल 2020 के चुनाव में आप के विनय मिश्रा को 71,003 मत मिले थे जबकि प्रद्युम्न राजपूत 56,616 वोट के साथ दूसरे स्थान पर रहे थे। चुनाव से पहले आप छोड़कर कांग्रेस में शामिल होने वाले आदर्श शास्त्री को मात्र 6,757 वोट मिले थे।
द्वारका विधानसभा सीट से इस बार आम आदमी पार्टी ने विनय मिश्रा, भाजपा ने प्रद्युम्न राजपूत और कांग्रेस ने आदर्श शास्त्री को मैदान में उतारा है। अब देखना यह होगा कि क्या आम आदमी पार्टी अपनी जीत की लय बरकरार रखेगी या भाजपा-कांग्रेस का कोई उम्मीदवार बाजी मारेगा। इस बार द्वारका विधानसभा सीट के परिणाम किस पार्टी के पक्ष में होंगे, यह जनता तय करेगी।
एक अनुमान के अनुसार, द्वारका विधानसभा क्षेत्र में बड़ी संख्या में सिख मतदाता हैं। यहां मुस्लिम मतदाता लगभग 6.5 फीसदी, शर्मा पांच फीसदी, यादव 1.8 फीसदी और ईसाई लगभग 0.6 फीसदी हैं। ऐसे में इस सीट पर भाजपा मुस्लिम मतदाताओं को लुभाने का पूरा प्रयास कर रही है, ताकि आप से यह सीट छीन सके।
द्वारका विधानसभा में मतदाताओं की कुल संख्या दो लाख 23 हजार से अधिक है। यहां 1,21,259 पुरुष मतदाता, 1,02,260 महिला मतदाता और एक थर्ड जेंडर वोटर हैं।
दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए मतदान 5 फरवरी को एक चरण में होगा। चुनाव आयोग के मुताबिक, 83,49,645 पुरुष, 71,73,952 महिला और 1,261 थर्ड जेंडर को मिलाकर कुल 1.55 करोड़ से अधिक मतदाता अपने बहुमूल्य अधिकार का प्रयोग करेंगे। मतगणना 8 फरवरी को होगी।
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