केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री शिवराज सिंह चौहान की विकसित भारत संकल्प पदयात्रा दूसरे दिन विदिशा संसदीय क्षेत्र के बुधनी के कई गांवों में पहुंची। इस मौके पर उन्होंने जल संरक्षण पर जोर दिया और जल को खजाना बताया। वहीं, आगामी 29 मई से पूरे देश में विकसित कृषि संकल्प अभियान शुरू करने की बात कही।
केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि 29 मई से विकसित कृषि संकल्प अभियान शुरू हो रहा है। इस अभियान के तहत वैज्ञानिक किसानों के खेतों तक पहुंचेंगे। भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद (आईसीएआर) के पास 16 हजार वैज्ञानिक हैं, जिनमें से दो हजार 170 वैज्ञानिकों की टीमें देशभर के गांवों में पहुंचेंगी और उनके साथ चर्चा करेंगी।
वैज्ञानिक गांव और उसके आसपास के क्षेत्रों की एग्रो क्लाइमेटिक कंडीशन्स, मिट्टी के स्वास्थ्य, मिट्टी के पोषक तत्व, खाद और बीज, कीटों के प्रकोप को समझेंगे और किसानों को सलाह देंगे। साथ ही किसान भी वैज्ञानिकों से अपनी समस्याओं को साझा करेंगे। इसके अलावा मिट्टी के हिसाब से कौन सी फसल उपयुक्त है, कौन से बीज बेहतर हैं, ऐसे कई विषयों पर वैज्ञानिक किसानों से चर्चा करेंगे।
पदयात्रा के दौरान शिवराज सिंह चौहान ने सबसे पहले बिजला जोड़ में युवाओं से भेंट कर उनसे संवाद किया। इस दौरान ‘ऑपरेशन सिंदूर’ और सेनाओं के शौर्य तथा पराक्रम की सबने सराहना की। फिर स्ट्रीट वेंडर योजना और विश्वकर्मा योजना के हितग्राहियों से भी संवाद किया। उसके बाद शिवराज सिंह, चांदा ग्रहण जोड़ पहुंचे, जहां उन्होंने प्रधानमंत्री आवास योजना, वॉटर हार्वेस्टिंग और जल संरक्षण योजनाओं के हितग्राहियों से चर्चा की। वहीं, भैरूंदा में भी केंद्रीय मंत्री ने महिला सशक्तीकरण सहित केंद्र की योजनाओं को लेकर लाभार्थियों से संवाद किया।
पदयात्रा के दौरान शिवराज सिंह और पत्नी साधना सिंह ने हाथों में तीर-कमान लेकर पारंपरिक आदिवासी नृत्य भी किया। विकसित भारत संकल्प पदयात्रा के दौरान जल जीवन मिशन की कलश यात्रा में कृषि मंत्री शामिल हुए और जनता को जल संरक्षण के लिए संकल्प भी दिलाया।
संकल्प दिलाते हुए शिवराज सिंह ने कहा कि हम शपथ लेते हैं कि जल का संरक्षण करेंगे और जल का विवेकपूर्ण उपयोग करेंगे। हम प्रतिज्ञा लेते हैं कि जल के इस बेशकीमती खजाने का उपयुक्त उपयोग करेंगे और जल को बर्बाद नहीं करेंगे। साथ ही अपने परिवार, मित्रों और पड़ोसियों को भी जल का उपयुक्त प्रयोग करने और जल को बर्बाद न करने के लिए प्रोत्साहित करेंगे।
वहीं, शिवराज सिंह ने हितग्राहियों से चर्चा करते हुए जल संरक्षण की योजनाओं के संबंध में संवाद किया और संबंधित अधिकारियों से चेकडैम, स्टॉपडैम, बोरी-बंधान, खेत-तालाब योजना, गंगाजल संवर्धन योजना के बारे में जानकारी ली और जनता को भी इन योजनाओं के बारे में सरल भाषा में समझाया। उन्होंने कहा कि जल है तो जीवन है, बिना पानी के यह जिंदगी चल नहीं सकती है, इसलिए कुएं और ट्यूबवेल को रिचार्ज करें, और घर के पानी को धरती में भेजने के उपाय करें ताकि पानी बचाया जा सके।
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