November 5, 2025
Punjab

डॉ. चरणजीत सिंह गुमटाला: पंजाबी भाषा और संस्कृति को समर्पित जीवन

Dr. Charanjit Singh Gumtala dedicated his life to Punjabi language and culture

डॉ. चरणजीत सिंह गुमटाला एक प्रख्यात पंजाबी लेखक, स्तंभकार और विचारक हैं जिनकी साहित्यिक यात्रा कई दशकों और महाद्वीपों तक फैली हुई है। अब संयुक्त राज्य अमेरिका में बसे डॉ. गुमटाला ने अपना जीवन पंजाबी भाषा और संस्कृति के प्रचार और संरक्षण के लिए समर्पित कर दिया है। साहित्य के प्रति अटूट जुनून रखने वाले अस्सी वर्षीय डॉ. गुमटाला ने 14 पुस्तकों का लेखन और संपादन किया है और भारत तथा विदेशों के पंजाबी समाचार पत्रों में 300 से अधिक लेख प्रकाशित किए हैं। उनके लेखन में उनकी प्रखर बुद्धि और पंजाब तथा पंजाबी प्रवासियों के सामने आने वाली सामाजिक, राजनीतिक और सांस्कृतिक चुनौतियों से निपटने के प्रति उनकी अटूट प्रतिबद्धता झलकती है।

पंजाबी साहित्य के प्रति उनके विशाल कार्य और अटूट समर्पण ने उन्हें भारत, पाकिस्तान और संयुक्त राज्य अमेरिका में अनेक पुरस्कार और सम्मान दिलाए हैं। उनके आजीवन योगदान के सम्मान में, पंजाबी कलमकारी पत्रकार मंच ने अप्रैल में फगवाड़ा में आयोजित एक समारोह में उन्हें लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड से सम्मानित किया।

अपनी साहित्यिक उपलब्धियों के अलावा, डॉ. गुमटाला गंभीर समकालीन मुद्दों पर अपनी वकालत के लिए भी जाने जाते हैं। वे 1988 से अमृतसर विकास मंच (एवीएम) की अपनी टीम के साथ अवैध अतिक्रमणों के खिलाफ लंबी कानूनी लड़ाई लड़ रहे हैं। इससे पहले, उन्होंने शहर में चल रहे अवैध डेयरी फार्मों के खिलाफ एक अभियान का सफलतापूर्वक नेतृत्व किया था, जिसके कारण नगर निगम को उन्हें अमृतसर की सीमा से बाहर स्थानांतरित करना पड़ा था।

वे पंजाब के गाँवों और कस्बों में पुस्तकालयों की स्थापना के माध्यम से स्थायी कृषि पद्धतियों, जल संरक्षण और पठन संस्कृति के निर्माण की आवश्यकता पर अक्सर ज़ोर देते हैं। डॉ. गुमटाला वास्तव में पंजाबी लचीलेपन, बुद्धिमत्ता और रचनात्मकता की भावना के प्रतीक हैं। उनकी रचनाएँ लेखकों और पाठकों की नई पीढ़ियों को समाज के साथ आलोचनात्मक रूप से जुड़ने और अपनी भाषाई और सांस्कृतिक विरासत पर गर्व करने के लिए प्रेरित करती रहती हैं।

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