मुंबई, सुप्रीम कोर्ट में विधायकों की अयोग्यता के मुद्दे पर सुनवाई से एक दिन पहले प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने रविवार को यहां शिवसेना सांसद संजय राउत पर धावा बोल दिया। ईडी की एक टीम पुलिस और केंद्रीय सुरक्षा एजेंसी के साथ पात्रा चॉल भूमि घोटाला मामले की जांच के तहत राउत के भांडुप स्थित आवास पर पहुंची।
राउत ने ट्वीट किया : “शिवसेना जिंदाबाद। लड़ते रहेंगे।” उनके सैकड़ों समर्थकों ने उनके घर के बाहर धरना दिया।
ईडी पहले भी राउत और उनकी पत्नी वर्षा राउत के बयान दर्ज कर चुकी है।
इससे पहले ईडी ने राउत के सहयोगी प्रवीण राउत से जुड़ी नौ करोड़ रुपये की संपत्ति के अलावा उनकी पत्नी वर्षा की करीब दो करोड़ रुपये की संपत्ति कुर्क की थी।
शिवसेना नेता राउत (60) चार बार के सांसद और शिवसेना के संसदीय दल के नेता हैं। उनके खिलाफ धन शोधन निवारण अधिनियम के तहत 1,034 करोड़ रुपये का मामला दर्ज किया गया है।
शिवसेना मुंबई दक्षिण के सांसद अरविंद सावंत ने ईडी की कार्रवाई को ‘राजनीतिक मकसद से किया गया प्रतिशोध का कार्य’ करार दिया।
उन्होंने यह भी कहा कि राउत और उनकी पत्नी दोनों ईडी के सामने पेश हुए थे और उनके बयान दर्ज कर लिए गए हैं।
कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता अतुल लोंधे ने छापेमारी की निंदा की और कहा कि अब सभी केंद्रीय एजेंसियां राजनेताओं और विरोधियों को परेशान करने के लिए सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी के ‘राजनीतिक उपकरण’ बन गई हैं।
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के नेता प्रतिपक्ष अजीत पवार ने यह कहते हुए टिप्पणी करने से इनकार कर दिया कि उन्हें राउत के खिलाफ ईडी की कार्रवाई का पूरा विवरण नहीं मिला है।
भाजपा के किरीट सोमैया, राम कदम और मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे समूह के विधायकों ने शिवसेना नेता पर ईडी की कार्रवाई का स्वागत किया।