January 31, 2025
National

रुद्रप्रयाग में हर साल कच्ची दुकानों से होते हैं हादसे, जिम्मेदार कौन?

Every year accidents happen due to raw shops in Rudraprayag, who is responsible?

देहरादून, 18 जून । उत्तराखंड में चारधाम यात्रा के दौरान रोजगार के भी लाखों अवसर होते हैं। कई छोटे-छोटे दुकानदार कच्ची दुकानें खोलकर कमाई करते हैं।

गौरीकुुंड के 21 किलोमीटर के ट्रैक पर भी कई छोटी-बड़ी दुकानें खोल ली जाती हैं। बिना अनुमति के खोली गई दुकानों पर प्रशासन कार्रवाई करता है। इसके बावजूद कोई फर्क नहीं पड़ रहा है। इससे हादसे भी होते रहते हैं।

एक बार फिर केदारनाथ धाम के पैदल रास्ते पर मीठा पानी के पास खाने की एक कच्ची दुकान अचानक ढह गई। इसकी चपेट में आने से सात लोग घायल हो गए। गंभीर रूप से घायल दो लोगों को ऋषिकेश एम्स भेजा गया है।

बड़ा सवाल यह है कि हर साल प्रशासन बिना अनुमति के खोली गई कच्ची दुकानों के खिलाफ कार्रवाई करता है। इसके बावजूद दुकानों को खोला जाता है। आखिर, इस जानलेवा लापरवाही का जिम्मेदार कौन है? सवाल यह भी है कि आखिर प्रशासनिक कार्रवाई के बावजूद अवैध तरीके से दुकानें कैसे खुल जाती हैं।

इस मामले को लेकर जब रुद्रप्रयाग डीएम सौरभ गहरवार से बात करने की कोशिश की गई तो उन्होंने बात करने से इनकार कर दिया।

दरअसल, केदारनाथ धाम में इस तरह का यह कोई पहला हादसा नहीं है। पिछले साल भी केदारनाथ यात्रा मार्ग के बेस कैंप गौरीकुंड में रात को अचानक पहाड़ी से मलबा गिरा था। इसकी चपेट में आकर तीन दुकानें ध्वस्त हो गई थीं। इस घटना में 13 लोगों की मौत हो गई थी। कई दिनों तक सर्च ऑपरेशन चलाया गया था। काफी मशक्कत के बाद महिला, बच्चे और पुरुषों के शव नदी से मिले थे।

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