पानीपत, 28 जून मुख्यमंत्री के उड़नदस्ते और सीआईडी की संयुक्त टीम ने गुरुवार को पानीपत और सोनीपत के सिविल अस्पतालों में एंबुलेंस का अचानक निरीक्षण किया और इनमें कई अनियमितताएं पाईं। मरीजों को समय पर एंबुलेंस उपलब्ध न होने की शिकायतों के बाद यह कार्रवाई की गई।
जानकारी के अनुसार, जिले में कुल आठ एम्बुलेंस हैं – चार एडवांस लाइफ सपोर्ट वाहन, तीन बेसिक लाइफ सपोर्ट वाहन और एक किलकारी वाहन – और सभी चालू पाए गए। टीम को एम्बुलेंस में साफ-सफाई की स्थिति ठीक नहीं मिली।
दो एंबुलेंस में जीपीएस नहीं मिला, मॉनिटर काम नहीं कर रहा था। एक एंबुलेंस में दवाईयों का किट भी गायब था। इन पर स्टीकर फटे मिले और बायोमेट्रिक काम नहीं कर रहा था। किलकारी एंबुलेंस पर महिला कर्मचारी का होना अनिवार्य था, लेकिन कोई भी महिला कर्मचारी नियुक्त नहीं की गई। इसके अलावा एंबुलेंस में स्वीकृत पद के मुकाबले स्टाफ की कमी थी। पानीपत में एक फ्लीट मैनेजर, चार कंट्रोल रूम ऑपरेटर, 38 ईएमटी और 70 ड्राइवर समेत कुल 113 पद स्वीकृत हैं, जबकि कुल 64 कर्मचारी काम कर रहे हैं। फ्लीट मैनेजर नहीं था, 15 ईएमटी और 37 ड्राइवर के पद खाली थे।
सोनीपत में टीम ने रिकॉर्ड चेक किया तो 32 में से 30 एंबुलेंस बिना प्रदूषण प्रमाण पत्र के मिलीं। एक एंबुलेंस में जीपीएस, बायोमेट्रिक डिवाइस और सीसीटीवी कैमरे नहीं मिले। ऑक्सीजन रेगुलेटर का शीशा भी टूटा मिला और तीन एंबुलेंस का एसी और सायरन काम नहीं कर रहा था। यहां स्टाफ के कुछ पद भी खाली मिले।
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