हैदराबाद ; भारत की प्रमुख जेनेरिक दवा कंपनियों में से एक हेटेरो ने सोमवार को ऐलान किया है कि उसे कोविड-19 ओरल एंटीवायरल उपचार कैंडिडेट निर्मत्रेलविर के जेनेरिक वर्जन के लिए मंजूरी मिल गई है। यह मंजूरी कंपनी को वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गनाइजेशन प्रीक्वालिफिकेशन ऑफ मेडिसिन्स प्रोग्राम (डब्ल्यूएचओ पीक्यू) से मिली है। फाइजर की कोविड-19 ओरल एंटीवायरल दवा ‘पैक्सलोविड’ के जेनेरिक वर्जन के लिए यह पहली प्री-क्वालिफिकेशन है जिसे डब्ल्यूएचओ ने उच्च जोखिम वाले मरीजों के लिए अब तक का सबसे अच्छा चिकित्सीय विकल्प बताया है। कंपनी ने कहा कि डब्ल्यूएचओ ने अस्पताल में भर्ती उच्च जोखिम, हल्के व मध्यम कोविड-19 मरीजों को निर्मत्रेलविर और रिटोनावीर देने की एक मजबूत सिफारिश की है। ऐसे मरीज या तो बुजुर्ग हो सकते हैं या उन्हें टीका नहीं लगाया जा सकता है।
हेटेरो द्वारा निरमाकॉम के रूप में लॉन्च किए गए कॉम्बी पैक में निर्मत्रेलविर 150 एमजी (2 टैबलेट) और रिटोनावीर 100 एमजी (1 टैबलेट) शामिल होंगी। यह दवा केवल डॉक्टर की सलाह पर उपलब्ध है, कोविड-19 संक्रमण की पहचान के बाद लक्षण शुरू होने के पांच दिनों के भीतर इसे जल्द से जल्द शुरू किया जाना चाहिए। कंपनी ने कहा कि निरमाकॉम का निर्माण में हेटेरो की यूनिटों में किया जाएगा।
हेटेरो ग्रुप ऑफ कंपनी के प्रबंध निदेशक वामसी कृष्णा बांदी ने कहा कि निरमाकॉम के लिए वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गनाइजेशन की पहली मंजूरी प्राप्त करना कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में एक महत्वपूर्ण कदम है क्योंकि इससे हमें इस महत्वपूर्ण अभिनव एंटीरेट्रोवायरल दवा तक पहुंच बढ़ाने में मदद मिलेगी, हम जल्द ही ऐसा करेंगे। हम भारत में 95 एलएमआईसीएस में निरमाकॉम को सस्ती कीमतों पर तेजी से उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध हैं।