हिमाचल प्रदेश के उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने रविवार को स्पष्ट किया कि सरकार चलाने के लिए मंदिरों से कभी पैसा नहीं लिया जाएगा। उन्होंने विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर के आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि भाजपा को सकारात्मक विपक्ष की भूमिका निभानी चाहिए।
मुकेश अग्निहोत्री ने कहा, “जयराम ठाकुर को नेता प्रतिपक्ष होने के कारण रचनात्मक विपक्ष की भूमिका निभानी चाहिए और उन्हें उछल-कूद बंद करनी चाहिए।”
उन्होंने आरोप लगाया कि कुछ लोग किसी भी मुद्दे को असलियत से हटकर दिखाने की कोशिश करते हैं। हिमाचल प्रदेश की कांग्रेस सरकार ने न तो अब तक किसी मंदिर से पैसा लिया है और न ही वह भविष्य में मंदिरों से सरकार चलाने के लिए कोई पैसा लेने वाली है। उन्होंने कहा, “हमारे मित्र (जयराम ठाकुर) किसी भी चीज को मुद्दा बनाने का प्रयास करते रहते हैं। जब-जब बजट सत्र आता है, तब-तब वह ऐसा करते हैं। पिछली दफा उन्होंने कहा था कि भगवान भी कांग्रेस की सरकार को नहीं बचा सकते। लेकिन उसके बावजूद हमारी सरकार प्रदेश में है और अपने दो साल पूरे कर चुकी है।”
उन्होंने कहा कि मंदिरों के पैसों को लेकर अदालत द्वारा पहले ही नियम बनाए गए हैं। इसलिए जयराम ठाकुर को “बिना मतलब की बात” नहीं कहनी चाहिए। मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि हिमाचल प्रदेश के मंदिर सभी लोगों के लिए आस्था के स्थल हैं और प्रदेश सरकार का मंदिरों के पैसों से कोई सरोकार नहीं है।
मुकेश अग्निहोत्री ने कहा, “मैं जयराम जी से यह कहना चाहता हूं कि बेहतर होगा कि वह रचनात्मक विपक्ष की भूमिका निभाएं, प्रदेश के हित में काम करें, यह सरकार उनके हाथ नहीं लगने वाली है। जरूरत से ज्यादा उछल-कूद मचाने से कुछ नहीं होगा।”
डिप्टी सीएम ने कहा कि जब हम महाकुंभ में स्नान करने के लिए जाते हैं, तो इनको लगता है कि महाकुंभ में स्नान करना इनका एकाधिकार है। जब से हम महाकुंभ में स्नान करने गए, इन्हें पता नहीं क्या समस्या हो गई है कि ये लोग हमें घेरने में लगे हैं। वह कह रहे हैं कि हम साफ दिल से नहीं गए और हमारा दिल साफ नहीं है।
उन्होंने निशाना साधते हुए कहा, “क्या आपका दिल ज्यादा साफ है? क्या आप भगवान के बहुत ज्यादा करीबी हैं? हम लोग भी रोज किसी न किसी मंदिर जाते हैं। सुबह से शाम तक माता रानी का आशीर्वाद लेते हैं।”