February 20, 2025
Himachal

हिमाचल प्रदेश बिजली बोर्ड के कर्मचारियों ने आउटसोर्सिंग के खिलाफ किया प्रदर्शन, लंबित मांगें

Himachal Pradesh Electricity Board employees protest against outsourcing, pending demands

ऊना जिले में हिमाचल प्रदेश बिजली बोर्ड (एचपीईबी) के कर्मचारियों और पेंशनरों ने संयुक्त कार्रवाई समिति के नेतृत्व में ऊना जिला मुख्यालय पर ‘महापंचायत’ आयोजित की और बोर्ड द्वारा उनकी लंबित मांगों पर कोई कार्रवाई न किए जाने तथा विभिन्न कार्यों को आउटसोर्स करने के प्रयासों के खिलाफ विरोध जताया। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि उनकी मांगों पर जल्द ही विचार नहीं किया गया तो वे उग्र आंदोलन करेंगे।

ऊना शहर के पुराने ट्रक यूनियन मैदान में बड़ी संख्या में मौजूदा और पूर्व कर्मचारी एकत्र हुए, जहां राज्य संयुक्त कार्रवाई समिति के संयोजक हीरा लाल वर्मा ने उन्हें संबोधित किया। उन्होंने निराशा व्यक्त की कि मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में राज्य स्तरीय बैठक में कई मांगें उठाने के बावजूद कोई भी मांग पूरी नहीं की गई।

वर्मा ने बोर्ड द्वारा तर्कसंगतीकरण के नाम पर स्वीकृत पदों में कटौती करने के निर्णय की आलोचना की, जिससे मौजूदा कर्मचारियों पर काम का बोझ बढ़ गया है। उन्होंने हाल ही में 51 पदों में कटौती की निंदा की और नई भर्ती के साथ-साथ उन्हें बहाल करने की मांग की। उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि 2003 के बाद भर्ती हुए कर्मचारियों को पुरानी पेंशन योजना का लाभ दिया जाना चाहिए।

इसके अलावा, उन्होंने बोर्ड से लंबित अवकाश नकदीकरण और ग्रेच्युटी भुगतानों को निपटाने और दो साल से लंबित पेंशन राशि जारी करने का आग्रह किया। उन्होंने आउटसोर्स कर्मचारियों के लिए एक स्थायी नीति बनाने की मांग की और हाल ही में बर्खास्त किए गए 81 आउटसोर्स ड्राइवरों को बहाल करने की मांग की।

ट्रेड यूनियन नेता ने इस बात पर भी जोर दिया कि राज्य सरकार और संयुक्त कार्रवाई समिति के बीच द्विपक्षीय समझौते के प्रावधानों का सम्मान किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि बोर्ड की संपत्तियों को आपसी सहमति के बिना बेचा या हस्तांतरित नहीं किया जाना चाहिए। इसके अलावा, उन्होंने सबस्टेशनों और बिजलीघरों के संचालन और रखरखाव को आउटसोर्स करने का कड़ा विरोध किया।

अन्य यूनियन नेताओं ने भी यही चिंता जताई और चेतावनी दी कि अगर सरकार उनकी मांगों को नजरअंदाज करती रही तो कर्मचारी अपना आंदोलन और तेज करने पर मजबूर होंगे। महापंचायत के बाद प्रदर्शनकारियों ने अपनी मांगों के समर्थन में नारे लगाते हुए मिनी सचिवालय की ओर कूच किया।

इस विरोध प्रदर्शन में लाइनमैन और जूनियर इंजीनियर्स सहित विभिन्न संबद्ध यूनियनों ने भाग लिया, जिससे बोर्ड कर्मचारियों में व्यापक असंतोष का संकेत मिला।

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