मुख्यमंत्री सुखविन्द्र सिंह सुक्खू ने आज कहा कि अस्पतालों के लिए मरीजों से परामर्श शुल्क के रूप में 10 रुपये लेना अनिवार्य नहीं है।
सुखू ने कहा, “प्रत्येक अस्पताल की रोगी कल्याण समिति (आरकेएस) अगर स्वच्छता और रखरखाव (बुनियादी ढांचे और उपकरणों) जैसी सेवाओं के लिए संसाधनों की जरूरत है तो वह परामर्श शुल्क के रूप में 10 रुपये वसूल सकती है। अगर आरकेएस को लगता है कि उसके पास पर्याप्त धन है, तो उसे ये शुल्क लगाने की जरूरत नहीं है।”