आपदा प्रभावित क्षेत्रों से लगातार अनुपस्थित रहने को लेकर आलोचनाओं का सामना कर रही मंडी की सांसद कंगना रनौत का आज मनाली के नग्गर पहुंचने पर काले झंडों और ‘वापस जाओ’ के नारों के साथ स्वागत किया गया।
पूर्व मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर के साथ कंगना को युवा कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने काले झंडे दिखाए और बाढ़ आपदा के 24 दिन बाद उनके आगमन पर सवाल उठाए। भारी बारिश के कारण लोगों को हुए भारी नुकसान के बीच उनकी अनुपस्थिति को लेकर स्थानीय लोगों और मीडियाकर्मियों ने भी कंगना को कड़े सवालों का सामना करना पड़ा।
जब मीडियाकर्मियों ने उनसे उनके निर्वाचन क्षेत्र से अनुपस्थित रहने के बारे में पूछा, तो उन्होंने पलटवार करते हुए कहा, “मैं भी एक अकेली महिला हूँ, इसलिए मुझे व्यक्तिगत रूप से निशाना न बनाएँ। मैं भी इस आपदा से प्रभावित हुई हूँ। यहाँ मेरा एक रेस्टोरेंट है जहाँ बिक्री मात्र 50 रुपये प्रतिदिन है, जबकि मैं अपने कर्मचारियों को 15 लाख रुपये मासिक वेतन देती हूँ।” कंगना की टिप्पणी के वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गए और उनकी तीखी आलोचना हुई।
उन्होंने पलटवार करते हुए कहा, “मैं इंग्लैंड की रानी नहीं हूँ कि सब कुछ कर सकूँ।” कंगना की पहले भी जनता की दुर्दशा के प्रति असंवेदनशील होने के लिए आलोचना की जा चुकी है। वह मंडी ज़िले के भांबला गाँव की रहने वाली हैं और उन्होंने कुछ साल पहले मनाली में एक घर बनवाया था और इस साल की शुरुआत में शहर में एक उच्च-स्तरीय रेस्टोरेंट भी खोला था।
कंगना ने दावा किया कि केंद्र सरकार ने हिमाचल प्रदेश को 10,000 करोड़ रुपये की मदद आवंटित की है। उन्होंने कहा, “मेरे दौरे का उद्देश्य यह आकलन करना है कि राज्य सरकार इस धनराशि का उपयोग कैसे कर रही है।” उन्होंने कई मौकों पर हिमाचल सरकार पर केंद्र सरकार द्वारा दिए गए धन का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया है।