मंडी में अंतर्राष्ट्रीय महाशिवरात्रि महोत्सव की तीसरी सांस्कृतिक संध्या संगीत और नृत्य के एक मंत्रमुग्ध कर देने वाले उत्सव में बदल गई, जिसमें प्रसिद्ध पंजाबी गायक कुलविंदर बिल्ला ने समां बांध दिया। उनके शानदार प्रदर्शन ने दर्शकों को झूमने पर मजबूर कर दिया और वे उनके लोकप्रिय गानों पर नाचने लगे। मंडी के जीवंत सांस्कृतिक स्थल “छोटी काशी” में आयोजित इस कार्यक्रम में स्थानीय लोक कलाकारों, संगीतकारों और नर्तकों ने भी शानदार प्रस्तुति दी, जिसने उत्सव के उत्साह को और बढ़ा दिया।
शाम की शुरुआत बिरी सिंह दल द्वारा एक भावपूर्ण शहनाई वादन के साथ हुई, जिसने एक दिव्य और मंगलमय वातावरण स्थापित किया। इसके बाद कई मनमोहक प्रस्तुतियों की श्रृंखला हुई, जिसमें कुलविंदर बिल्ला ने अपने उच्च-ऊर्जा गीतों से मंच को रोशन किया, जिसमें “सेम टाइम सेम जगह”, “केजरा मोहब्बत वाला”, “चक्वेन सूट”, “मित्रां दा ना चलदा” और “तुतक तुतक” शामिल थे। उनकी दमदार आवाज़ और गतिशील उपस्थिति ने एक विद्युतीय माहौल बनाया, जिससे दर्शकों ने उत्साहपूर्ण जयकारे लगाए।
लोक गायिका गीता भारद्वाज ने भी उत्साह को और बढ़ाते हुए अपने पारंपरिक पहाड़ी नाटी नृत्य और लोकप्रिय हिंदी-पंजाबी गीतों से लोगों को मंत्रमुग्ध कर दिया। “धोडू बो धोने जो धोबन चाली”, “एक अढ़िया पिलाई जा रे” और “दम मारो दम” जैसे उनके भावपूर्ण गीतों ने दर्शकों को झूमने पर मजबूर कर दिया और उनकी शानदार प्रस्तुति की सराहना की।
इस महोत्सव में मंडी की समृद्ध सांस्कृतिक विविधता को भी प्रदर्शित किया गया, जिसमें कई प्रतिभाशाली स्थानीय कलाकार मंच पर आए। सुंदरनगर के तनिश ने एक सुंदर नृत्य प्रस्तुति दी, जबकि चव्वा के काकू राम ठाकुर ने अपनी शक्तिशाली शिव स्तुति और “मित्रां दा ना चलदा” और “हाओ रब्बा हाओ रब्बा” जैसे जीवंत गीतों से प्रभावित किया। करसोग के मोहन गुलेरिया और मंडी के कश्मीर सिंह सहित अन्य कलाकारों ने अपने भावपूर्ण संगीत प्रदर्शनों से अमिट छाप छोड़ी।
कार्यक्रम में स्थानीय समूहों द्वारा प्रस्तुत नृत्य प्रस्तुतियों ने चार चांद लगा दिए। इनमें कुल्लू से आदित्य वर्धन डांस ग्रुप, मंडी से ड्रीम टू फ्लाई डांस ग्रुप और शिमला से शारदा शर्मा शामिल थे। उनके ऊर्जावान प्रदर्शनों ने शाम को शानदार समापन दिया। मुख्य अतिथि के रूप में तकनीकी शिक्षा मंत्री राजेश धर्माणी की उपस्थिति ने कार्यक्रम की गरिमा को और बढ़ा दिया।