January 21, 2025
National

‘सक्रिय राजनीति’ छोड़ने के एक दिन बाद नीलेश राणे ने अपना मन बदला

Nilesh Rane changes his mind a day after leaving ‘active politics’

मुंबई, 25 अक्टूबर । अचानक ‘सक्रिय राजनीति’ छोड़ने का फैसला करने के एक दिन बाद पूर्व सांसद और भाजपा नेता नीलेश एन. राणे ने अपना मन बदल लिया है। वह सिंधुदुर्ग और तटीय कोंकण क्षेत्र के अन्य जिलों में पार्टी के लिए काम करना जारी रखेंगे।

केंद्रीय एमएसएमई मंत्री नारायण राणे के बेटे नीलेश राणे का यह कदम बुधवार को मुंबई में उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और पीडब्ल्यूडी मंत्री रवींद्र चव्हाण के साथ मैराथन बैठक के बाद आया।

बैठक से बाहर निकलते हुए रवींद्र चव्हाण ने कहा कि उन्होंने करीब दो घंटे तक राजनीतिक मतभेदों को सुलझाने के लिए विभिन्न मुद्दों पर फडणवीस के साथ चर्चा की।

रवींद्र चव्हाण ने कहा, ”हमने नारायण राणे और अब फडणवीस के साथ भी इस पर चर्चा की। हमारा रुख यह है कि निचले स्तर पर पार्टी के लिए काम करने वाले सामान्य कार्यकर्ताओं के साथ कोई अन्याय नहीं होना चाहिए।”

नीलेश राणे द्वारा उठाए गए मुद्दों पर भी पार्टी नेतृत्व विचार कर निर्णय लेगा और कार्यकर्ताओं की भावनाओं का सम्मान किया जाएगा।

चव्हाण ने नीलेश राणे से ‘सक्रिय राजनीति’ छोड़ने के फैसले को आगे नहीं बढ़ाने का भी आग्रह किया और आश्वासन दिया कि आगामी लोकसभा चुनाव लड़ने वाले किसी भी व्यक्ति को कोई समस्या नहीं होगी।

अब पार्टी नीलेश राणे के साथ सिंधुदुर्ग जिले के साथ-साथ पूरे कोंकण क्षेत्र में बिना किसी परेशानी के काम करेगी। हालांकि, चव्हाण के साथ मौजूद नीलेश राणे ने इस मामले पर कोई टिप्पणी नहीं की।

रिपोर्ट के अनुसार, कथित अंदरूनी लड़ाई और सिंधुदुर्ग में चव्हाण खेमे के कथित हस्तक्षेप से आहत नीलेश राणे ने मंगलवार को अचानक ‘सक्रिय राजनीति’ से बाहर निकलने और कोई चुनाव नहीं लड़ने का फैसला किया था।

जब उन्होंने अपने एक्स अकाउंट पर घोषणा की तो, भाजपा हलकों में खलबली मच गई और राज्य तथा कोंकण के कई वरिष्ठ नेताओं ने उन्हें पीछे हटने एवं पार्टी में पहले की तरह काम करना जारी रखने के लिए मनाने की कोशिश की।

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