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हिंदुत्व और राष्ट्रीयता का समर्थन करने वाले दल को देना चाहिए वोट : विहिप

One should vote for the party supporting Hindutva and nationalism: VHP

नई दिल्ली, 6 अप्रैल विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के अंतर्राष्ट्रीय अध्यक्ष आलोक कुमार ने कहा है कि अयोध्या में बने राम मंदिर का असर लोकसभा चुनाव में जरूर पड़ेगा और लोगों को हिंदुत्व और राष्ट्रीयता का समर्थन करने वाले दल को वोट देना चाहिए।

देशवासियों को विक्रमी संवत-2081 के नववर्ष की हार्दिक शुभकामनाएं देते हुए उन्होंने कहा कि आने वाला दशक हिंदुस्तान के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण रहने जा रहा है।

लोकसभा चुनाव का जिक्र करते हुए विहिप नेता ने कहा कि विश्व हिंदू परिषद वैसे तो गैर राजनीतिक रूप से कार्य करता है, लेकिन, चुनावों का असर तो देश पर पड़ता है। सरकारें अगर प्रतिकूल होती है तो बहुत असर पड़ता है इसलिए उन्होंने अपने कार्यकर्ताओं से कहा है कि नागरिक के नाते अपनी जिम्मेदारी पूरी करनी है, लोगों को ज्यादा से ज्यादा वोट देने के लिए प्रोत्साहित करना है।

आलोक कुमार ने अयोध्या में बने राम मंदिर का असर लोकसभा चुनाव में जरूर पड़ने की बात कहते हुए मतदाताओं से हिंदुत्व और राष्ट्रीयता का समर्थन करने वाले दल को वोट करने की अपील भी की।

उन्होंने आगे कहा कि लोगों को पिछले दस साल के सरकार के आचरण को देखना चाहिए। राम मंदिर का समर्थन किसने किया और इसका विरोध किसने किया? राम मंदिर बनने की खुशी किन लोगों को हुई और किन लोगों ने इसका बहिष्कार किया? सीएए कौन लेकर आया और इसका विरोध कौन कर रहा है? लोगों को इन सब बातों का विचार करना चाहिए और इन सब बातों के आधार पर ही वोट करना चाहिए।

उन्होंने कहा कि उनकी सूची में धार का भोजशाला नहीं था। लेकिन, धार के लोगों ने मुकदमा किया और वहां सर्वे का काम जारी है। उन्होंने दावा किया कि वैज्ञानिक सर्वे के आधार पर काशी, मथुरा और धार में यह जल्द ही सामने आ जाएगा कि इन तीनों का मूल स्वरूप क्या है?

उन्होंने कहा कि महज कुछ ही महीनों के अंदर इन मामलों में ट्रायल अदालत से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक फैसला आ गया और अब सर्वे हो रहा है और उन्हें उम्मीद है कि नए साल में इन तीनों के मुकदमे काफी आगे बढ़ जाएंगे।

उन्होंने कहा कि राम मंदिर का आंदोलन अपनी परिणीति तक पहुंच गया है। उन्होंने बिना नाम लिए कांग्रेस द्वारा रामलला के प्राण प्रतिष्ठा समारोह के निमंत्रण को ठुकराने के लिए कांग्रेस की आलोचना भी की।

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