तमिलनाडु की मुख्य विपक्षी पार्टी ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (एआईएडीएमके) ने रामनाथपुरम जिले में डीएमके सरकार के खिलाफ एक बड़े जन-विरोध प्रदर्शन की घोषणा की है।
पार्टी के महासचिव और पूर्व मुख्यमंत्री एडप्पाडी के. पलानीस्वामी (ईपीएस) ने डीएमके के नेतृत्व वाली राज्य सरकार और स्थानीय नगर निगम पर गंभीर आरोप लगाते हुए इसे ‘स्टालिन मॉडल’ का खोखला शासन करार दिया है।ईपीएस ने एक आधिकारिक बयान में कहा कि डीएमके सरकार सत्ता में आने के बाद पिछले 55 महीनों से लोगों को सबसे बुनियादी सुविधाएं भी उपलब्ध नहीं करा पाई है। रामनाथपुरम नगर पालिका क्षेत्र में सीवेज का ओवरफ्लो होना आम बात हो गई है, जिससे कई वार्डों में गंदा पानी सड़कों पर बह रहा है।
इससे स्वास्थ्य संबंधी गंभीर खतरे पैदा हो गए हैं। सबसे चिंताजनक बात यह है कि पीने के पानी में सीवेज मिलने की घटनाएं सामने आई हैं, जिससे स्थानीय निवासियों में व्यापक असंतोष और स्वास्थ्य समस्याएं बढ़ गई हैं।
ईपीएस ने आगे कहा कि पूरे नगर क्षेत्र में सड़कें बुरी तरह खराब हालत में हैं, जिससे रोजमर्रा की यात्रा खतरनाक और मुश्किल हो गई है। इसके अलावा, उन्होंने नए बने बस टर्मिनल में दुकानों के आवंटन में डीएमके से जुड़े पदाधिकारियों द्वारा बड़े पैमाने पर अनियमितताओं का भी जिक्र किया।
सबसे ज्यादा नाराजगी रामनाथपुरम मेडिकल कॉलेज अस्पताल की स्थिति को लेकर है। ईपीएस ने बताया कि यहां डॉक्टरों और स्टाफ की भारी कमी है, अस्पताल परिसर में अंडरग्राउंड ड्रेनेज सिस्टम नहीं है, जिससे सीवेज का दूषित पानी मरीजों के इलाज को प्रभावित कर रहा है। उन्होंने इसे ‘शर्मनाक’ बताते हुए कहा कि डीएमके शासन में एक सरकारी मेडिकल कॉलेज अस्पताल भी सीवेज के दूषित माहौल में चल रहा है। साथ ही, राजनीतिक कारणों से अम्मा कैंटीन बंद होने के बाद गरीब मरीजों को सस्ता भोजन नहीं मिल पा रहा है।
इस पूरे हालात के विरोध में एआईएडीएमके की रामनाथपुरम जिला इकाई 30 दिसंबर 2025 को सुबह 10:30 बजे नगरपालिका कार्यालय के सामने एक विशाल कंडन आंदोलन (विरोध प्रदर्शन) आयोजित करेगी। इस प्रदर्शन का नेतृत्व विधायक और एआईएडीएमके के संगठन सचिव थिरु. वी.वी. राजन चेल्लप्पा करेंगे, जबकि जिला इकाई सचिव थिरु. एम.ए. मुनियसामी की मौजूदगी रहेगी।

