संसद का शीतकालीन सत्र चल रहा है। इस दौरान मंगलवार को लोकसभा में चुनाव सुधार के विषय पर चर्चा हो रही है। पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं भाजपा नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यकाल में लोगों का लोकतंत्र के प्रति विश्वास बढ़ा है।
भाजपा नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने आईएएनएस से बात करते हुए कहा, “हमारा भारत एक तरफ जहां दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र है, वहीं दूसरी तरफ हमारे चुनाव की जो व्यवस्था होती है, वो दुनिया का सबसे बड़ा लोकतांत्रिक पर्व है। इस लोकतंत्र के त्योहार में लोग जनतंत्र के जुनून और जज्बे के साथ भागीदारी करते हैं। हमारी चुनावी प्रक्रिया में बेहतरी के लिए लगातार सुधार होता रहा है। इसी का नतीजा है कि लोगों का लोकतंत्र के प्रति विश्वास बढ़ा है। यही कारण है कि मतदान का प्रतिशत बढ़ता हुआ दिख रहा है।”
उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के शासनकाल में तमाम सुधार हुए हैं। चुनाव सुधार पर इससे पहले भी कई बार चर्चा हो चुकी है। अगर चर्चा सकारात्मक और रचनात्मक हो और बेहतरी के लिए सुझाव मिले, तो यह सही बात है, लेकिन अगर विपक्ष सिर्फ भय और भ्रम फैलाने के लिए इस विषय पर चर्चा करें और पूरी चुनावी प्रक्रिया पर सवालिया निशान खड़ा करे, तो वो ठीक नहीं है।”
भाजपा नेता ने कहा, “भारत सुधारों का देश है। आगे भी सुधार होना चाहिए। जब पहला आम चुनाव 1951 में हुआ, उसके बाद बैलेट और ईवीएम से चुनाव हुए। मतदाताओं की आयु को 21 वर्ष की जगह पर 18 वर्ष कर दिया गया। राजनीतिक पार्टियों की फंडिंग में पारदर्शिता बरती गई। तमाम कई सुधार हुए हैं। अगर अच्छे सुझाव आएंगे, तो उसपर भी सुधार होंगे। लेकिन अगर विपक्ष चुनाव सुधार के नाम पर राजनीतिक प्रहार की नियत रखेंगे और चुनावी व्यवस्था के प्रति भय और भ्रम का भंवर जाल फैलाने की कोशिश करेंगे, तो मेरे हिसाब से वह ठीक नहीं है।”


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