हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी सोमवार को पंचकूला में संस्कृति मॉडल स्कूल में ‘परीक्षा पे चर्चा’ कार्यक्रम में शामिल हुए। इसके बाद सीएम ने पत्रकारों से बातचीत की।
सीएम नायब सिंह सैनी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हर साल छात्रों से ‘परीक्षा पर चर्चा’ को लेकर सीधे बातचीत करते हैं, ताकि बच्चों के ऊपर परीक्षा का दबाव न रहे और बच्चे हर समस्या का सामना करते हुए आगे बढ़ें। बच्चों के दिमाग के ऊपर किसी प्रकार का दबाव न हो। बच्चों को खुशी-खुशी परीक्षा को एक पर्व के रूप में लेकर आगे बढ़ना चाहिए।
कई बार बच्चे ये सोचकर डिप्रेशन में चले जाते है कि उसके नंबर कम आए हैं। कई बार बच्चों पर मां-बाप का दबाव भी होता है कि तेरे नंबर क्यों कम आए, इस कारण भी वे डिप्रेशन चले जाते हैं।
पीएम मोदी ने परीक्षा पे चर्चा की शुरुआत की। पीएम मोदी हर साल बच्चों (छात्र-छात्राओं) से बात करते हैं। ये बच्चों का मनोबल बढ़ाने और उनका आत्मविश्वास बढ़ाने का यह बहुत अच्छा तरीका है। पीएम मोदी ने परीक्षा पे चर्चा के माध्यम से बच्चों से बातचीत करते हैं।
उन्होंने आगे कहा कि पीएम मोदी ने बच्चों से 21 भागों में अलग-अलग विषयों पर चर्चा की कि हमारे पास खेल भी होना चाहिए। पर्यावरण और अपने स्वास्थ्य के प्रति भी जागरूक रहना चाहिए और कड़ी मेहनत करते हुए किसी भी विषय या किसी भी परीक्षा को एक चुनौती के रूप में स्वीकार करना चाहिए। जब हम इसे एक चुनौती के रूप में स्वीकार करते हैं, तो हमारे लिए कोई भी चुनौती बड़ी नहीं होती, हर चुनौती छोटी होती है और बच्चों में एक बड़ा आत्मविश्वास पैदा होता है।
परीक्षा पे चर्चा के माध्यम से पीएम उन्हें एक मूल मंत्र देते हैं। मैं इसके लिए पीएम मोदी को धन्यवाद देना चाहता हूं, इससे हमारे बच्चों का मनोबल बढ़ता है। माता-पिता को भी इससे प्रेरणा मिलती है और बच्चे भी सही रास्ते पर आगे बढ़ते हैं। मैं उन सभी बच्चों के उज्ज्वल भविष्य की भी कामना करता हूं जिनकी 10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षाएं शुरू होने वाली हैं। मुझे पूरा विश्वास है कि ये बच्चे पूरी एकाग्रता के साथ पढ़ाई करेंगे और अपने मन के तनाव को दूर करके आगे बढ़ेंगे। मैं उन सभी को बधाई और शुभकामनाएं देता हूं।