N1Live Punjab पंजाब भाजपा ने आम आदमी पार्टी के ‘16% जीएसटी वृद्धि’ के दावे को ‘फर्जी’ बताया और कहा कि आंकड़े हेरफेर किए गए हैं।
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पंजाब भाजपा ने आम आदमी पार्टी के ‘16% जीएसटी वृद्धि’ के दावे को ‘फर्जी’ बताया और कहा कि आंकड़े हेरफेर किए गए हैं।

Punjab BJP termed Aam Aadmi Party's claim of '16% GST increase' as 'fake' and said that the figures have been manipulated.

आज पंजाब भाजपा मुख्यालय में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के कई वरिष्ठ नेताओं और कार्यकर्ताओं ने भाजपा में शामिल हो गए।पंजाब भाजपा के प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष अश्वनी शर्मा और वरिष्ठ भाजपा नेता तथा पूर्व कैबिनेट मंत्री मनोरंजन कालिया की उपस्थिति में नेताओं को औपचारिक रूप से पार्टी में शामिल किया गया।

भाजपा में शामिल होने वाले नेताओं में अश्वनी कुमार शर्मा (राष्ट्रीय उपाध्यक्ष, आईएनटीयूसी), कांग्रेस के पंजाब श्रम एवं रोजगार प्रकोष्ठ के पूर्व अध्यक्ष, पंजाब आईएनटीयूसी के पूर्व अध्यक्ष, मोती लाल धमाका (पूर्व विधायक उम्मीदवार, 1991), पूर्व पार्षद उम्मीदवार (2002), पंजाब आईएनटीयूसी के उपाध्यक्ष, अनिल कुमार राजा (ब्लॉक अध्यक्ष, युवा कांग्रेस, छेहरटा), पंडित प्रिंस धामी (अध्यक्ष, पंजाब ब्राह्मण मंच), मट्टू कोहली (जालंधर) (पूर्व कांग्रेस कार्यकर्ता), अवतार सिंह (पूर्व सैनिक), अंकुर शर्मा, अजयपाल सिंह, नीतीश महाजन (वकील), राहुल घनोत्रा ​​और राहुल शर्मा शामिल हैं।

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पंजाब के राज्य महासचिव अनिल सरीन ने आज एक बयान में कहा कि वित्त मंत्री हरपाल चीमा द्वारा जीएसटी राजस्व में 16 प्रतिशत की वृद्धि का दावा आंकड़ों की हेराफेरी और जनता को धोखा देने के अलावा और कुछ नहीं है।

सारिन ने कहा कि अप्रैल से नवंबर तक 17,860 करोड़ रुपये के संग्रह का अनुमान लगाकर आम आदमी पार्टी सरकार पंजाब की जनता को गुमराह करने की कोशिश कर रही है। उन्होंने कहा कि सच्चाई यह है कि व्यापारियों के जीएसटी रिफंड को जानबूझकर कई महीनों से रोक रखा गया है। मई से फाइलें बिना किसी कार्रवाई के पड़ी हैं, जबकि सरकार बढ़ा-चढ़ाकर और झूठे राजस्व आंकड़े दिखाकर अपनी विफलता को छुपा रही है। इस अवसर पर भाजपा के प्रदेश मीडिया प्रमुख विनीत जोशी और सह-कोषाध्यक्ष सुखविंदर सिंह गोल्डी भी उपस्थित थे।

उन्होंने आरोप लगाया कि जीएसटी विभाग को निर्देश दिया गया है कि वह प्रति व्यापारी चार तक निरीक्षण करे और हर महीने लगभग 100 करोड़ रुपये की लक्षित वसूली करे। आरोप है कि अधिकारी जुर्माने के नाम पर व्यापारियों को डरा रहे हैं, नोटिसों की झड़ी लगा रहे हैं और कारोबार को दबाव में लाने और ठप करने के लिए सरकारी खुफिया एजेंसियों का इस्तेमाल कर रहे हैं।

सारिन ने आगे कहा कि सरकार ने स्वयं स्वीकार किया है कि राज्य खुफिया एजेंसियों के माध्यम से वसूली 321 करोड़ रुपये से बढ़कर 618 करोड़ रुपये हो गई है। इससे स्पष्ट रूप से साबित होता है कि भय, दबाव और धमकी के माध्यम से धन की वसूली की जा रही है, जिसे किसी भी परिस्थिति में कर सुधार नहीं कहा जा सकता।

भाजपा नेता ने सीधा सवाल उठाया: अगर राजस्व में वाकई वृद्धि हो रही है, तो शिक्षक, स्वास्थ्यकर्मी, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के कर्मचारी, शहरी स्थानीय निकाय के कर्मचारी और पेंशनभोगी अपने वेतन और पेंशन के लिए सड़कों पर उतरने को क्यों मजबूर हैं? उन्होंने कहा कि इससे साबित होता है कि पंजाब का खजाना खाली है और सरकार पूरी तरह विफल हो चुकी है।

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