चंडीगढ़ : विधानसभा अध्यक्ष कुलतार सिंह संधवान ने अपने विधानसभा क्षेत्र में पराली जलाने को हतोत्साहित करने के लिए रविवार को घोषणा की कि वह प्रत्येक ग्राम पंचायत को एक लाख रुपये देंगे, जहां किसान इस प्रथा को छोड़ देंगे।
संधवां ने कहा कि धान की पराली को जलाने से पर्यावरण पर हानिकारक प्रभाव पड़ता है और साथ ही भूमि की उर्वरता भी प्रभावित होती है।
उन्होंने कहा कि गुरबानी के सिद्धांतों के मुताबिक पंजाब के लोग प्रकृति से सबसे ज्यादा प्यार करते हैं। उन्होंने कहा, “जैसे-जैसे लोग पराली जलाने के हानिकारक प्रभावों के बारे में जागरूक होते जा रहे हैं, वे इस प्रवृत्ति को छोड़ रहे हैं।” उन्होंने कहा कि वह दिन दूर नहीं जब राज्य के लोग इस प्रथा को पूरी तरह से छोड़ देंगे।
संधवां ने पिछले सप्ताह धान की पराली नहीं जलाने वालों को सम्मानित किया था।
यह अपनी तरह की अनूठी पहल थी। इस समारोह में फरीदकोट जिले के 18, मोगा के 13, संगरूर के 10, रोपड़ के एक, गुरदासपुर के 10 और लुधियाना व बरनाला के सात किसानों को सम्मानित किया गया.