N1Live National भारत में हिंदू बहुसंख्यक नहीं होते तो पंथनिरपेक्षता की कल्पना नहीं की जा सकती थी: मुख्तार अब्बास नकवी
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भारत में हिंदू बहुसंख्यक नहीं होते तो पंथनिरपेक्षता की कल्पना नहीं की जा सकती थी: मुख्तार अब्बास नकवी

Secularism would not have been conceivable if Hindus were not in majority in India: Mukhtar Abbas Naqvi

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत की ‘हिंदू राष्ट्र’ वाली टिप्पणी का समर्थन करते हुए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा है कि भारत में हिंदू बहुसंख्यक नहीं होते तो पंथनिरपेक्षता की कल्पना नहीं की जा सकती थी।

मुख्तार अब्बास नकवी ने समाचार एजेंसी आईएएनएस से बातचीत में कहा कि यह भारत की संस्कृति है कि यहां इतनी विविधता होने के बावजूद हम सब मिलकर काम करते हैं। भारत की सनातन संस्कृति का परिणाम है कि देश बहुसंख्यक हिंदू राष्ट्र होने के बावजूद पूरे विश्व में पंथ निरपेक्षता का ध्वज वाहक बना हुआ है।

मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की ओर से पश्चिम बंगाल में मंदिर बनवाने पर भाजपा नेता ने कहा, “ममता बनर्जी अपनी ही चालाकी के जाल में फंस रही हैं। पहले उन्होंने बाबरी मस्जिद का नाम उठाया, फिर उन्हें एहसास हुआ कि सिर्फ बाबर का नाम लेने से कुछ नहीं होगा, तो उन्होंने बात को संभालने की कोशिश की। अब उन्होंने मंदिरों का मुद्दा उठा दिया है। इस तरह ममता बनर्जी चतुराई के चक्रव्यूह में खुद उलझ रही हैं।”

बांग्लादेश के मुद्दे पर मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि इस मुल्क को जल्लादी और जिहादी जालिमों ने हाईजैक कर लिया है। बांग्लादेश में जो कुछ हो रहा है, वह किसी भी देश के लिए अच्छा नहीं है। उन्होंने कहा कि भारत सरकार इस मामले को संवेदनशीलता के साथ सभी चीजों को देख रही है। दिग्विजय सिंह को लेकर भाजपा नेता ने कहा, “कांग्रेस के नेता आरएसएस को कोसते हुए कोसी नदी के किनारे पहुंच चुके हैं। कांग्रेस का इतिहास रहा है कि जब-जब वह सत्ता से बाहर रही है, वह टूटी और बिखरी है। क्योंकि बिना सत्ता के कांग्रेस नहीं रह सकती है।”

मुख्तार अब्बास नकवी ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के उस बयान का समर्थन किया, जिसमें उन्होंने कहा कि राहुल गांधी को अभी और हारना है। नकवी ने कहा, “राहुल गांधी और कांग्रेस के नेता जितना शोर मचाते हैं, जनता उनकी उतनी ही धुनाई करती है।”

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