सोमवार को रोहतक और रेवाड़ी जिलों के स्वास्थ्य विभाग की एक संयुक्त टीम द्वारा नूंह जिले में एक अल्ट्रासाउंड केंद्र पर छापेमारी के दौरान अवैध लिंग निर्धारण रैकेट का पर्दाफाश किया गया।
संयुक्त अभियान के दौरान पकड़े गए एक डॉक्टर और एक एजेंट को छापेमारी दल ने पुलिस के हवाले कर दिया है। गिरफ्तार डॉक्टर की पहचान डॉ. राजवीर सिंह और एजेंट की पहचान आशिक अली के रूप में हुई है, जबकि एक अन्य एजेंट इकलाश खान फरार है।
रोहतक के सिविल सर्जन डॉ. रमेश चंद्र ने बताया, “हमने एक गर्भवती महिला को फर्जी ग्राहक के तौर पर तैयार किया था। एजेंट इकलाश खान ने उससे 70,000 रुपये की मांग की। जब वह उक्त राशि देने के लिए तैयार हो गई, तो उसे नूंह बस स्टैंड पर बुलाया गया।”
रोहतक जिले में पीसी एवं पीएनडीटी अधिनियम के नोडल अधिकारी डॉ. विश्वजीत राठी ने बताया कि एक अन्य एजेंट आशिक अली फर्जी ग्राहक को नूंह बस स्टैंड से नूंह के नल्हड़ मोड़ स्थित सूरज अल्ट्रासाउंड सेंटर ले गया और भ्रूण लिंग परीक्षण करवाया।
डॉ. राठी ने कहा, “हमारी टीम इस घटना पर कड़ी नजर रख रही थी। हमने अल्ट्रासाउंड केंद्र पर छापा मारा, जहां से हमने 70,000 रुपये बरामद किए और भ्रूण का लिंग निर्धारित करने के लिए इस्तेमाल किए गए अल्ट्रासाउंड उपकरण को सील कर दिया।”
उन्होंने बताया कि केंद्र से जब्त साक्ष्य आगे की कार्रवाई के लिए पुलिस को सौंप दिए गए हैं।
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