नई दिल्ली, भारत में बिलियर्ड्स ऐसा खेल है जो बहुत कम ही चर्चा में रहता है लेकिन जब भी इस खेल का जिक्र होता है, तो गीत सेठी का नाम सामने आता है। इस शख्सियत ने इस खेल में भारत को खूब सफलता दिलाई और इतिहास के पन्नों में अपना नाम दर्ज कराया।
गीत सेठी ने 1985 में आज ही के दिन विश्व एमेच्योर बिलियर्ड्स चैंपियनशिप में ऑस्ट्रेलिया के बॉब मार्शल को हराकर खिताबी जीत हासिल की थी। दोनों के बीच तकरीबन आठ घंटे तक चले इस मैच की चर्चा लंबे समय तक रही। ये उनके करियर के सबसे यादगार लम्हों में शुमार है।
इस मुकाबले की सबसे दिलचस्प बात ये है कि नजम सेठी ने 1985 में अपने विश्व कप डेब्यू में ही खिताब जीता और वो ऐसा करने वाले पहले गैर-वरीयता प्राप्त खिलाड़ी थे। इस जीत से उनका आत्मविश्वास बढ़ गया और उन्होंने एक नया इतिहास रचना शुरू किया।
9 बार विश्व बिलियर्ड्स खिताब जीतने वाले इस महान खिलाड़ी पर पूरे देश को गर्व है। बिलियर्ड्स और स्नूकर के खेल में दुनिया भर में भारत का डंका बजाने वाले गीत श्रीराम सेठी का जन्म 17 अप्रैल 1961 को दिल्ली में हुआ था। वो बिलियर्ड्स के एक पेशेवर खिलाड़ी हैं जिनका 1990 के अधिकांश दशक में इस खेल में प्रभुत्व रहा।
गीत सेठी को शुरू से ही बिलियर्ड्स खेलने में दिलचस्पी थी। हालांकि, छोटी उम्र के कारण उन्हें दिल्ली क्लब में खेलने की अनुमति नहीं मिली थी। जिसके बाद वो अहमदाबाद चले गए। वहां पर गुजरात स्पोर्ट्स क्लब की संचालन समिति ने उनकी काबिलियत देखकर उन्हें मौका दिया। शुरुआती दौर में उन्हें कम उम्र के कारण काफी दिक्कत हुई लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी। इसके बाद गीत ने अहमदाबाद को अपना स्थाई निवास बना लिया।
एक मीडिया इंटरव्यू में सेठी ने कहा था, “बचपन में मैं खेलों में काफी दिलचस्पी रखता था। 13 साल की उम्र में मैं राष्ट्रीय स्तर का जूनियर तैराक था। मैं जूनियर था जो प्रतिस्पर्धी स्तर पर टीटी के साथ-साथ स्कूल में बैडमिंटन और बास्केटबॉल भी खेलता था। यही वह समय था जब मैंने पहली बार बिलियर्ड टेबल देखी। मुझे तब बिलियर्ड रूम में जाने की अनुमति नहीं थी। जब मैं 13 साल का था तब मैंने पहली बार यह खेल शुरू किया। एक या दो महीने बाद मैंने बाकी अन्य खेल छोड़ दिया और पूरा फोकस इस पर लगाया।”
एक साल बाद सेठी जूनियर स्टेट चैंपियन बन गए। 15 साल की उम्र में उन्होंने जूनियर नेशनल्स में जीत हासिल कर ली और तब तक वे पूरी तरह से इस खेल में रम चुके।
गीत सेठी ने 1982 में भारतीय राष्ट्रीय बिलियर्ड्स चैम्पियनशिप के रूप में अपना पहला बड़ा खिताब जीता और फिर पीछे मुड़कर नहीं देखा। यहां से उन्होंने लगातार बड़े खिताब अपने नाम किए और ये खेल काफी सुर्खियों में रहा।
अपने करियर के दौरान सेठी ने पांच बार (1992, 1993, 1995, 1998, 2006) विश्व प्रोफेशनल बिलियर्ड्स चैंपियनशिप जीती, तीन बार (1985, 1987, 2001) वर्ल्ड एमेच्योर चैंपियनशिप जीती और एक एशियाई खेल स्वर्ण पदक (1998) जीता। वह सात बार राष्ट्रीय बिलियर्ड्स चैंपियन और चार बार राष्ट्रीय स्नूकर चैंपियन भी रहे। स्नूकर में सर्वाधिक 147 ब्रेक बनाने वाले पहले एमेच्योर खिलाड़ी के रूप में गीत गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में भी शामिल हैं।
गीत सेठी के नाम कई पुरस्कार हैं। उन्हें वर्ष 1986 में अर्जुन पुरस्कार और पद्मश्री पुरस्कार दिया गया था। इसके बाद 1992-93 में केके बिड़ला पुरस्कार से सम्मानित किया गया। साथ ही 1992-93 में भारत के सर्वोच्च खेल पुरस्कार राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार से सम्मानित भी किया गया था। इन तमाम उपलब्धियों को हासिल कर गीत सेठी ने बिलियर्ड्स के महारथी विल्सन जोंस और माइकल फरेरा की विरासत को आगे बढ़ाया और बुलंदियों को छुआ, जिससे इस खेल को भारत में एक नई पहचान मिली।
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