कैथल नगर परिषद (एमसी) के अधिकारियों ने बुधवार रात को भगत सिंह चौक के पास बाजार में दुकानों के सामने नालियों को ढकने वाले कंक्रीट स्लैब और रैंप को हटा दिया, जो नाला-सफाई अभियान का हिस्सा था। इस कदम से व्यापारियों में नाराजगी फैल गई, जिन्होंने गुरुवार को सड़क जाम कर दिया, उनका आरोप था कि यह कार्रवाई बिना किसी पूर्व सूचना या सूचना के की गई थी।
बुधवार रात को कुछ दुकानदारों ने कार्रवाई का विरोध किया और अधिकारियों को अभियान चलाने से रोकने की कोशिश की। प्रदर्शनकारी दुकानदारों ने आरोप लगाया कि नगर परिषद ने गैरजिम्मेदाराना तरीके से काम किया।
एक दुकानदार ने कहा, “अगर अधिकारी नालियों की सफाई करना चाहते थे, तो उन्हें कम से कम दुकानदारों को सूचित करना चाहिए था या नोटिस जारी करना चाहिए था। इसके बजाय, रात में कार्रवाई की गई।”
उन्होंने यह भी दावा किया कि स्लैब हटाने से उनके व्यापार पर नकारात्मक असर पड़ेगा, क्योंकि ग्राहकों को अब उनकी दुकानों तक पहुँचने में परेशानी होगी। एक अन्य दुकानदार ने कहा, “अब ग्राहकों को हमारी दुकानों तक पहुँचने में परेशानी होगी, और बाजार में जलभराव का भी खतरा है।”
व्यापारियों ने मांग की कि वरिष्ठ अधिकारी मौके पर आकर उनकी चिंताओं का समाधान करें। सूचना मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची और प्रदर्शनकारी व्यापारियों को शांत कराया। थाना प्रभारी (एसएचओ) ने उन्हें आश्वासन दिया कि उनकी शिकायतों को पुलिस तक पहुंचाया जाएगा।
कैथल के जिला नगर आयुक्त (डीएमसी) सुशील मलिक ने कहा कि बारिश के दौरान जलभराव की समस्या को दूर करने के लिए यह कदम उठाना जरूरी था। मलिक ने कहा, “नालियों की पूरी तरह से सफाई के लिए कुछ स्लैब हटाने पड़े। हमने व्यापारियों को आश्वासन दिया है कि उन्हें कोई असुविधा नहीं होगी और उचित सफाई के बाद स्लैब वापस रख दिए जाएंगे।”
इस बीच कैथल के विधायक आदित्य सुरजेवाला ने व्यापारियों से मुलाकात की और अपना समर्थन दिया। उन्होंने नगर निगम द्वारा उठाए गए कदम की आलोचना की।