मंडी ज़िले के धर्मपुर उपमंडल में पिछले सोमवार की रात आई विनाशकारी बाढ़ में बह गए दो लोगों का चार दिन बाद भी कोई सुराग नहीं मिल पाया है। लगातार भारी बारिश के कारण आई बाढ़ ने पूरे क्षेत्र में तबाही मचा दी। स्थानीय बस स्टैंड और बाज़ार की कई दुकानें जलमग्न हो गईं, जबकि हिमाचल पथ परिवहन निगम (एचआरटीसी) की 20 बसें और कई निजी वाहन क्षतिग्रस्त हो गए। रात में अचानक आए पानी के उफान ने निवासियों को स्तब्ध कर दिया और वे सुरक्षित स्थानों की तलाश में इधर-उधर भागने लगे।
मंडी की एसपी साक्षी वर्मा और धर्मपुर के एसडीएम जोगिंदर पटियाल के अनुसार, बाढ़ प्रभावित इलाकों में गहन तलाशी अभियान जारी है। राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ), राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ), स्थानीय पुलिस, होमगार्ड के जवान और सामुदायिक स्वयंसेवकों की टीमें तैनात की गई हैं, लेकिन उनके निरंतर प्रयासों के बावजूद, लापता लोगों का अभी तक पता नहीं चल पाया है।
एसडीएम ने कहा, “तलाशी अभियान जारी रहेगा, विशेषकर उस नदी के किनारे, जहां बाढ़ आ गई थी।” उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि लापता व्यक्तियों का पता लगाने के लिए सभी संभव उपाय किए जा रहे हैं।
इस क्षेत्र में सार्वजनिक और निजी संपत्ति, दोनों को भारी नुकसान हुआ है, साथ ही बड़ी संख्या में लोगों की जान भी गई है। 30 जून की रात को ज़िले के सेराज क्षेत्र में बादल फटने से 42 लोगों की मौत हो गई, जबकि 27 लोग अभी भी लापता हैं।