January 23, 2025
National

औपचारिक निमंत्रण के बिना हम एमवीए सीट-शेयर वार्ता में शामिल नहीं होंगे : वीबीए

We will not participate in MVA seat-share talks without formal invitation: VBA

मुंबई, 25 जनवरी । प्रकाश अंबेडकर के नेतृत्व वाली वंचित बहुजन अघाड़ी (वीबीए) ने बुधवार को कहा है कि वह गुरुवार को यहां आयोजित विपक्षी गठबंधन महा विकास अघाड़ी (एमवीए) की सीट-साझाकरण वार्ता में ‘बिन बुलाए मेहमान’ के रूप में नहीं जाएगी।

वीबीए के प्रवक्ता सिद्धार्थ मोकाले ने कहा कि उनकी पार्टी को एमवीए सहयोगियों, कांग्रेस-शिवसेना (यूबीटी)-राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एसपी) के बीच चर्चा के लिए अभी तक औपचारिक निमंत्रण नहीं मिला है।

मोकाले ने मीडियाकर्मियों से कहा, “हमें अब तक कोई पत्र नहीं मिला है… हम तब तक वहां नहीं जाएंगे, जब तक हमें तीनों (एमवीए) पार्टियों के नेताओं द्वारा हस्ताक्षरित आधिकारिक निमंत्रण नहीं मिल जाता।”

यह बयान शिवसेना (यूबीटी) सांसद संजय राउत द्वारा बुधवार सुबह मीडिया को बताए जाने के कुछ घंटों बाद आया कि वीबीए को गुरुवार को मुंबई में आगामी लोकसभा चुनावों के लिए एमवीए की सीट बंटवारे की वार्ता में शामिल होने के लिए आमंत्रित किया गया है।

एक कांग्रेस नेता ने कहा कि वीबीए शिवसेना (यूबीटी) का सहयोगी है और बाद में उसे बातचीत के लिए आमंत्रित किया होगा, जिस पर सबसे पुरानी पार्टी को कोई आपत्ति नहीं है।

इस घटनाक्रम पर नाराजगी जताते हुए मोकाले ने कहा कि हालांकि वीबीए-शिवसेना (यूबीटी) सहयोगी हैं, “राउत को स्थिति का फायदा नहीं उठाना चाहिए”।

मोकाले ने स्पष्ट किया कि वीबीए एमवीए के साथ-साथ राष्ट्रीय विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ का हिस्सा बनने का इच्छुक है, लेकिन अभी तक उसे दोनों से बाहर रखा गया है।

अंबेडकर ने हाल ही में इस मुद्दे पर कांग्रेस को पत्र लिखा था, जिसका अभी तक कोई जवाब नहीं आया है। इसके बाद वीबीए ने चेतावनी दी है कि वह महाराष्ट्र की सभी 48 लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ेगी।

नाराज मोकाले ने पूछा, “राउत को बताना चाहिए कि कांग्रेस वीबीए के साथ सीधी बातचीत से क्यों बच रही है। क्या कांग्रेस ने एमवीए-इंडिया समूहों की ओर से हमारे साथ बातचीत करने के लिए राउत को अपनी पावर ऑफ अटॉर्नी दी है।”

उन्होंने वीबीए के रुख को दोहराया कि भारतीय जनता पार्टी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को हराने के लिए 2024 के संसदीय चुनावों के लिए सभी विपक्षी दलों को एकजुट होना जरूरी था, लेकिन कांग्रेस हर बार नए बहाने बनाकर समय बर्बाद कर रही है।

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