June 28, 2025
Uttar Pradesh

कोलकाता में छात्रा के साथ जो हुआ वो निंदनीय, हमें विश्वास ममता सरकार करेगी उचित कार्रवाई : फखरुल हसन चांद

What happened to the student in Kolkata is reprehensible, we believe Mamata government will take appropriate action: Fakhrul Hasan Chand

लखनऊ, 28 जून । समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता फखरुल हसन चांद ने कोलकाता में लॉ कॉलेज की छात्रा के साथ हुए गैंगरेप मामले को चिंताजनक बताया है। साथ ही उम्मीद जताई कि पश्चिम बंगाल सरकार आरोपियों को उनके अंजाम तक पहुंचाएगी।

सपा नेता ने विभिन्न मुद्दों पर समाचार एजेंसी आईएएनएस से बातचीत की। भाजपा पर संविधान के साथ छेड़छाड़ का भी आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि ये लोग आज से नहीं, बल्कि लंबे समय से बाबा साहेब अंबेडकर के संविधान को बदलने की कोशिश कर रहे हैं। लेकिन, मैं एक बात स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि जब तक हम लोग हैं, तब तक भाजपा ऐसा नहीं कर पाएगी।

उन्होंने लोकसभा चुनाव में भाजपा को अपेक्षित परिणाम नहीं मिलने का जिक्र करते हुए कहा कि इन लोगों ने 400 पार का नारा दिया था, लेकिन जनता ने इन्हें मुंहतोड़ जवाब दे दिया। देश की जनता ने भाजपा को इसलिए जवाब दिया क्योंकि यह लोग बाबा साहेब अंबेडकर के संविधान को बदलने की कोशिश कर रहे हैं। जब-जब यह लोग संविधान को बदलने की जुर्रत करेंगे, इन्हें निराशा ही हाथ लगेगी।

कोलकाता के लॉ कॉलेज में छात्रा के साथ दुष्कर्म की निंदा करते हुए बोले, “यह चिंता का विषय है। हम आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग करते हैं।” पश्चिम बंगाल सरकार पर भरोसा जताते हुए कहा कि निश्चित तौर पर वहां की सरकार आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करेगी, हमें पूरा विश्वास है।

उन्होंने महिला सुरक्षा को लेकर अखिलेश यादव द्वारा किए कार्य को याद दिलाते हुए कहा, “उन्होंने महिलाओं को सुरक्षित माहौल प्रदान करने के लिए 1090 दूरभाष नंबर की शुरुआत की थी, आखिर ऐसी ही शुरुआत अन्य राज्यों की सरकारें क्यों नहीं कर रही हैं? क्या अन्य राज्यों की सरकारें महिलाओं की सुरक्षा को लेकर गंभीर नहीं हैं?”

इसके साथ ही सपा प्रवक्ता ने महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश में मतदाताओं की सूची में हुई गड़बड़ी का जिक्र करते हुए चुनाव आयोग को घेरा। उन्होंने कहा कि हमने इस पूरे मामले को लेकर चुनाव आयोग को शिकायत दर्ज कराई, लेकिन अफसोस, आयोग खामोश रहा। आयोग ने कोई कार्रवाई करना जरूरी नहीं समझा, जिसकी वजह से अब उस पर सवाल खड़े होते हैं। चुनाव आयोग की निष्पक्षता सवालों के घेरे में है।

Leave feedback about this

  • Service