मंडी जिले के क्षेत्रीय अस्पताल में अस्पताल सुरक्षा और आपदा प्रबंधन पर तीन दिवसीय कार्यशाला का उद्घाटन उपायुक्त अपूर्व देवगन ने किया। बाल रक्षा भारत और स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से आयोजित इस कार्यक्रम में स्वास्थ्य, आयुष और पशुपालन क्षेत्र के 40 से अधिक डॉक्टरों ने हिस्सा लिया।
अपने उद्घाटन भाषण के दौरान डीसी देवगन ने आपदाओं के दौरान स्वास्थ्य सेवाओं की सुरक्षा के लिए एक व्यापक दृष्टिकोण की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि स्वास्थ्य पेशेवरों की तैयारी अन्य प्रतिक्रियाकर्ताओं की तरह ही महत्वपूर्ण है, उन्होंने इस बात पर प्रकाश डाला कि आपदाओं का बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य पर क्या प्रभाव पड़ सकता है, जिस पर बाल रक्षा भारत के प्रतिनिधियों ने विशेष रूप से चिंता व्यक्त की।
बाल रक्षा भारत की डॉ. तन्वी ने कार्यशाला के उद्देश्य को रेखांकित किया कि स्वास्थ्य सेवाओं को त्वरित आपातकालीन प्रतिक्रिया के लिए सुसज्जित किया जाए। प्रतिनिधि मोहम्मद आसिफ और सुनील कुमार ने बच्चों के स्वास्थ्य पर आपदाओं के प्रभावों के बारे में जानकारी दी।
कार्यक्रम में एडीएम डॉ. मदन कुमार, मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. नरेंद्र भारद्वाज, जिला स्वास्थ्य अधिकारी डी. दिनेश ठाकुर, डॉ. पवनेश और जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के प्रतिनिधि उपस्थित थे।
इस कार्यशाला का उद्देश्य अस्पतालों में आपदा तैयारी को मजबूत करना, यह सुनिश्चित करना है कि स्वास्थ्य सेवाएं आपात स्थितियों का जवाब देने में सक्षम हों तथा संकट के दौरान समुदाय को प्रभावी ढंग से सहायता प्रदान कर सकें।
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