June 25, 2025
Punjab

अखिल भारतीय महापौर कार्यकारी परिषद की 115वीं बैठक पंचकूला में आयोजित हुई

हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि प्रथम नागरिक के रूप में महापौर शहरों के विकास और प्रगति सुनिश्चित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। 

उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि महापौर सरकारी नीतियों और योजनाओं को जमीनी स्तर पर लागू करें, नागरिकों की आकांक्षाओं को समझें और उनके मुद्दों को हल करने के लिए काम करें।

नायब सिंह सैनी ने सोमवार को पंचकूला में आयोजित अखिल भारतीय महापौर कार्यकारी परिषद की 115वीं बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि स्थानीय स्वशासन की दृष्टि में महापौर रीढ़ की हड्डी के समान हैं।

शहर: आर्थिक विकास के इंजन, नवाचार के केंद्र

मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा में मेयर सीधे जनता द्वारा चुने जाते हैं और उनके पास कार्यकारी शक्तियां होती हैं। उन्होंने कहा कि यह प्रणाली नागरिकों और उनके प्रतिनिधियों के बीच एक मजबूत पुल बनाती है, जिससे निर्णय लेने की प्रक्रिया अधिक जवाबदेह और प्रभावी बनती है।

नायब सिंह सैनी ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में, जैसे-जैसे देश ‘विकसित भारत’ के लक्ष्य की ओर बढ़ रहा है, शहरों की भूमिका और भी महत्वपूर्ण होती जा रही है। उन्होंने कहा कि शहर केवल रहने की जगह नहीं हैं, वे आर्थिक विकास के इंजन, नवाचार के केंद्र और सांस्कृतिक आदान-प्रदान के संगम हैं।

हरियाणा शहरीकरण को चुनौती नहीं बल्कि अवसर मानता है

मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा शहरीकरण को चुनौती नहीं बल्कि अवसर के रूप में देखता है। राज्य का लक्ष्य शहरों को “जीवन की सुगमता” और “व्यापार करने की सुगमता” का मिश्रण बनाना है।

उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि शहरी विकास को केवल इमारतों और सड़कों जैसे बुनियादी ढांचे तक सीमित नहीं रखा जाना चाहिए, बल्कि शहरों को जीवंत, संवेदनशील और आत्मनिर्भर बनाने पर भी ध्यान केंद्रित किया जाना चाहिए।

उन्होंने कहा कि 2047 तक भारत में लगभग 900 मिलियन लोग शहरों में रहने लगेंगे। श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि यह केवल एक संख्या नहीं है, बल्कि नए बुनियादी ढांचे, नई जीवन शैली और नई संभावनाओं के लिए एक विशाल अवसर है। उन्होंने इस बदलाव को योजनाबद्ध शहरीकरण, डिजिटल एकीकरण और पर्यावरणीय स्थिरता के साथ जोड़ने की आवश्यकता पर जोर दिया।

हरियाणा में त्वरित शहरी विकास

मुख्यमंत्री ने बताया कि हरियाणा में शहरी स्थानीय निकायों को आवंटित बजट 2014-15 में 1,693 करोड़ रुपये से बढ़कर 2025-26 में 5,666 करोड़ रुपये हो गया है। चार महानगर विकास प्राधिकरण स्थापित किए गए हैं और फरीदाबाद तथा करनाल जैसे शहरों को स्मार्ट सिटी के रूप में विकसित किया जा रहा है।

इस पहल के तहत फरीदाबाद में 930 करोड़ रुपये की लागत से 45 परियोजनाएं चल रही हैं, जबकि करनाल में 927 करोड़ रुपये की लागत से 122 परियोजनाएं चल रही हैं। इसके अलावा, 2417 अनधिकृत कॉलोनियों को नियमित किया गया है और नई अधिकृत कॉलोनियों में 1,000 करोड़ रुपये के विकास कार्य किए जा रहे हैं, ऐसा श्री नायब सिंह सैनी ने बताया। 

शहरी परिवहन, आवास और ठोस अपशिष्ट प्रबंधन में प्रमुख उपलब्धियां

मुख्यमंत्री ने कहा कि अमृत मिशन के तहत अब तक 2,930 करोड़ रुपये खर्च किए जा चुके हैं। 375 इलेक्ट्रिक बसें चलाने के लक्ष्य में से 50 बसें 9 शहरों में पहले ही चलनी शुरू हो चुकी हैं और पीएम-ई-बस सेवा योजना के तहत 2026 तक 450 और बसें खरीदी जाएंगी।

उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) के तहत 21,431 मकान बनाए जा चुके हैं और 11,412 मकान निर्माणाधीन हैं। मुख्यमंत्री शहरी आवास योजना के तहत 14 शहरों में 15,256 परिवारों को प्लॉट आवंटित किए गए हैं।

उन्होंने डोर-टू-डोर कलेक्शन, सामुदायिक खाद और बायोगैस संयंत्रों के माध्यम से ठोस अपशिष्ट प्रबंधन में राज्य के सराहनीय प्रयासों की सराहना की। नागरिकों के लिए पहुँच बढ़ाने के लिए सभी शहरी सेवा वितरण प्रक्रियाओं को सरल और डिजिटल बनाया गया है।

महापौरों से अपने शहरों को ब्रांड बनाने का आह्वान

मुख्यमंत्री ने आशा व्यक्त की कि यह बैठक पिछले अनुभवों की समीक्षा, नई चुनौतियों पर चर्चा तथा महापौर संस्थाओं को मजबूत बनाने में मील का पत्थर साबित होगी।

उन्होंने सभी महापौरों से अपने शहरों को ब्रांड बनाने, उन्हें एक विशिष्ट पहचान देने और इस मिशन में सक्रिय रूप से भाग लेने का आह्वान किया। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि परिषद के विचार-विमर्श से रचनात्मक चर्चाएँ और नए संकल्प सामने आएंगे, और प्रत्येक प्रतिनिधि अपने-अपने शहरों में सकारात्मक बदलाव का एजेंट बनेगा।

प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में भारत की प्रगति

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में भारत ने पिछले 11 वर्षों में अभूतपूर्व प्रगति की है। 2014 में जब प्रधानमंत्री ने पदभार संभाला था, तब भारत की अर्थव्यवस्था विश्व स्तर पर 11वें स्थान पर थी।

आज यह चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था के रूप में स्थापित है और 2029 तक तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने का अनुमान है । श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि 2047 तक भारत को विकसित राष्ट्र बनाने का प्रधानमंत्री का संकल्प निश्चित रूप से साकार होगा।

उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि महापौरों और अध्यक्षों के लिए प्रत्यक्ष चुनाव की सुविधा देकर सरकार ने उनका दर्जा ऊंचा किया है तथा विकास की गति को तेज किया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि अंत्योदय की भावना के अनुरूप यह आवश्यक है कि विकास योजनाएं अंतिम व्यक्ति तक पहुंचे और महापौरों को इस लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए और भी अधिक जिम्मेदारी के साथ काम करना चाहिए।

इंदौर मॉडल से प्रशंसा और प्रेरणा

मुख्यमंत्री ने स्वच्छता रैंकिंग में इंदौर के प्रदर्शन की प्रशंसा की तथा महापौरों और पार्षदों को हरियाणा के शहरों में कार्यान्वयन के लिए इसके मॉडल का अध्ययन करने के लिए प्रोत्साहित किया।

उन्होंने प्रधानमंत्री आवास योजना, स्वच्छ भारत मिशन और शौचालय निर्माण जैसी योजनाओं के सफल क्रियान्वयन में महापौरों की भूमिका की सराहना करते हुए कहा कि इन योजनाओं को जमीनी स्तर पर लागू करने में महापौरों की महत्वपूर्ण भूमिका होती है।

राज्यसभा सांसद श्री. कार्तिकेय शर्मा, कालका विधायक, श्रीमती। शक्ति रानी शर्मा, अखिल भारतीय महापौर परिषद अध्यक्ष, श्रीमती। माधुरी अतुल पटेल, संगठन महासचिव एवं पूर्व मंत्री मध्य प्रदेश, श्री. उमाशंकर, वरिष्ठ उपाध्यक्ष, परिषद एवं मेयर, करनाल, श्रीमती। रेनू बाला गुप्ता, मेयर, पंचकुला। कुलभूषण गोयल, और विभिन्न राज्यों के मेयर।

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