जयपुर, 11 अप्रैल। राजस्थान में अवैध खनन के खिलाफ जीरो टॉलरेंस नीति को सख्ती से लागू करते हुए सरकार ने 2 अप्रैल से 8 अप्रैल के बीच 314 कार्रवाइयों को अंजाम दिया। इनमें अवैध खनन, खनिजों के परिवहन और भंडारण को निशाना बनाया गया। इस दौरान 152 वाहन और मशीनरी जब्त की गई और 24,461 टन से अधिक अवैध रूप से संग्रहित खनिजों को जब्त किया गया।
एक अधिकारी ने बताया कि इस अभियान के तहत अब तक 43 एफआईआर दर्ज की गई हैं और 26 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। यह राज्य सरकार की अवैध खनन के विरुद्ध कठोर रुख को दर्शाता है।
खनन विभाग के प्रमुख सचिव टी. रविकांत ने कहा कि यह कठोर प्रवर्तन कार्रवाई राज्य सरकार की अवैध खनन के खिलाफ सख्त नीति के तहत की जा रही है। मुख्यालय स्तर पर अतिरिक्त निदेशक सतर्कता पीआर आमेटा को नोडल अधिकारी नियुक्त किया गया है, ताकि राज्यभर में अभियान को सुव्यवस्थित ढंग से चलाया जा सके।
इस दौरान ब्यावर में खनन अभियंता जगदीश मेहरावत के नेतृत्व में नौ कार्रवाइयों में 7,513 टन खनिज जब्त किए गए और 92.16 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया।
उदयपुर में एमई आसिफ अंसारी की टीम ने 30 कार्रवाइयां कीं। वहीं अतिरिक्त निदेशक महेश माथुर की टीम ने 66 ऑपरेशनों में 1,729.99 टन खनिज जब्त किए, 10 एफआईआर दर्ज की और आठ लोगों को गिरफ्तार किया। कुल 18 वाहन जब्त किए गए।
वहीं भीलवाड़ा, बिजौलिया, चित्तौड़ और निम्बाहेड़ा के अधिकारियों की टीम ने 39 कार्रवाइयों में 938 टन खनिज जब्त किए, 30.53 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया और 34.35 लाख रुपए जब्त किए गए।
वरिष्ठ अधिकारी अविनाश कुलदीप के नेतृत्व में कोटा में 30 कार्रवाइयों में 7,343 टन खनिज जब्त किए गए, 1.7 करोड़ रुपए से अधिक का जुर्माना लगाया गया और 21 लाख रुपए से अधिक की राशि जब्त की गई।
इसके साथ ही एनएस शक्ति वाट के नेतृत्व में जयपुर में 24 कार्रवाइयों में 519 टन खनिज जब्त किए गए। 15.43 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया और 13.50 लाख रुपए की वसूली हुई।
सतर्कता अधिकारी प्रताप मीणा के नेतृत्व में सात अतिरिक्त कार्रवाइयों में 5.75 लाख रुपए का जुर्माना वसूला गया।
अजमेर में एसएमई जय गुरुबक्षानी के नेतृत्व में 25 ऑपरेशनों में 8,160 टन खनिज जब्त हुए। अधिकारी ने बताया कि बीकानेर, भरतपुर और राजसमंद में भी टीमें सक्रिय रहीं। जयपुर और अलवर की संयुक्त टीम ने भी विशेष अभियान चलाकर अवैध खनन पर लगाम कसने में अहम भूमिका निभाई।
उन्होंने कहा कि बीते सप्ताह की इन व्यापक कार्रवाइयों से यह स्पष्ट होता है कि राज्य सरकार अवैध खनन गतिविधियों को रोकने और प्राकृतिक संसाधनों की सुरक्षा के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है।
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