पंडित बीडी शर्मा पीजीआईएमएस में अगर सुरक्षा गार्ड ड्यूटी के दौरान बैठे पाए गए तो उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। साथ ही उन जूनियर डॉक्टरों के खिलाफ भी प्रशासनिक कार्रवाई की जाएगी जो बिना एप्रन पहने अपनी ड्यूटी निभाएंगे।
पीजीआईएमएस के निदेशक डॉ. एसके सिंघल ने शुक्रवार को इस संबंध में शिकायतों पर कार्रवाई करते हुए यह आदेश जारी किए। सूत्रों ने बताया कि खास बात यह है कि उन्होंने शिकायतों की सत्यता का पता लगाने के लिए धनवंतरी एपेक्स ट्रॉमा सेंटर का औचक दौरा भी किया।
डॉ. सिंघल ने कहा, “अक्सर देखा जाता है कि सुरक्षा गार्ड ड्यूटी के दौरान आराम से बैठे रहते हैं। यहां तक कि वे पीजीआईएमएस परिसर में डॉक्टरों, अन्य कर्मचारियों और मरीजों की सुरक्षा और झगड़े की स्थिति को रोकने के लिए भी कोई प्रयास नहीं करते हैं, इसलिए हमने उन सुरक्षा गार्डों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने का फैसला किया है जो ड्यूटी के दौरान बैठे पाए जाएंगे।”
निदेशक ने आगे कहा, “अगर मरीज गंभीर नहीं है, तो उसके साथ केवल एक अटेंडेंट को रहने की अनुमति दी जाती है, ताकि डॉक्टर के आस-पास भीड़ न हो और वह आसानी से मरीज की देखभाल कर सके। इसलिए, सुरक्षा गार्ड का यह कर्तव्य है कि वह डॉक्टरों और मरीजों के आस-पास भीड़ न लगने दे।”
सिंघल ने संबंधित अधिकारियों को अस्पतालों में व्हीलचेयर और ट्रॉलियों की सफाई सुनिश्चित करने के निर्देश भी दिए। उन्होंने कहा कि खून के धब्बे भी साफ किए जाने चाहिए।
इससे पहले निदेशक ने निरीक्षण के दौरान ट्रॉमा सेंटर की साफ-सफाई, मरीजों की देखभाल व अन्य सुविधाओं का भी जायजा लिया। उन्होंने कहा कि ट्रॉमा सेंटर में मरीजों को बेहतर सुविधाएं देने के लिए हर संभव प्रयास किए जाएंगे।
इस बीच, सामाजिक कार्यकर्ता दीपक राठी ने पीजीआईएमएस निदेशक से परिसर में पर्याप्त सुरक्षा व्यवस्था करने का आग्रह किया है ताकि पीजीआईएमएस परिसर में खुले में शराब पीने वालों से सख्ती से निपटा जा सके।
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