N1Live Punjab संगरूर में नागरिक उपेक्षा के बीच, परिजनों को शव को सीवेज के ऊपर ले जाने के लिए मजबूर होना पड़ा
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संगरूर में नागरिक उपेक्षा के बीच, परिजनों को शव को सीवेज के ऊपर ले जाने के लिए मजबूर होना पड़ा

Amid civic neglect in Sangrur, relatives forced to carry body over sewage

संगरूर के रामनगर बस्ती में गंदे पानी के जमाव के कारण सेवानिवृत्त केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) के डीएसपी रणबीर सिंह सिद्धू के परिवार को उनके पार्थिव शरीर को श्मशान घाट तक ले जाने के लिए सड़क पर लकड़ी के तख्ते बिछाने पड़े। संगरूर शहर में ही मुख्यमंत्री भगवंत मान का निजी आवास भी है।

सिद्धू की बेटी कमलप्रीत कौर ने कहा, “मेरे पिता का 28 अक्टूबर को डेंगू से निधन हो गया था। हम उनके पार्थिव शरीर को सीवर के ऊपर रखे लकड़ी के तख्तों पर चलकर घर लाए थे। हमने अधिकारियों से गंदा पानी साफ़ करने की गुहार लगाई, लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ। आखिरकार, हमें फिर से उनके पार्थिव शरीर को श्मशान घाट ले जाने के लिए लकड़ी के तख्तों पर चलना पड़ा।” उन्होंने आगे कहा, “अब हमने घर पर ही ‘अखंड पाठ’ शुरू कर दिया है। यहाँ तक कि गुरु ग्रंथ साहिब को भी सीवर से भरी गली से होकर घर लाया गया था।”

पंजाब जल आपूर्ति एवं सीवरेज बोर्ड, संगरूर के उप-मंडल अभियंता ललित कुमार ने कहा, “हमें इस समस्या की जानकारी नहीं थी। रुके हुए पानी की निकासी के लिए एक टीम भेजी जाएगी। जल निकासी का काम सितंबर में नगर निगम को सौंप दिया गया था। अब हम केवल नगर निगम की सहायता कर रहे हैं।”

नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी आकाश कुमार ने कहा, “हमने हाल ही में सीवेज का काम अपने हाथ में लिया है। टेंडर प्रक्रिया पूरी होते ही हम पूरा कार्यभार संभाल लेंगे। शहर के कुछ हिस्सों में स्थिति में सुधार हुआ है।” हाल ही में दस पार्षदों ने सफाई के मुद्दे पर नगर निगम अध्यक्ष भूपिंदर सिंह नाहल से अपना समर्थन वापस ले लिया था।

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