नूरपुर जिला पुलिस ने दुबई स्थित ड्रग रैकेट का भंडाफोड़ करते हुए ड्रग तस्करी के छह आरोपियों को गिरफ्तार किया है। इनके पास से करीब 1.20 करोड़ रुपये नकद, 1.093 किलोग्राम सोना और 99.45 ग्राम चांदी के आभूषण बरामद किए गए हैं। इसके अलावा मुख्य आरोपी द्वारा अपने रिश्तेदारों के नाम पर खोले गए 52.52 लाख रुपये के पांच बैंक खातों को भी फ्रीज कर दिया गया है।
नूरपुर जिला पुलिस की जानकारी के अनुसार, इस ड्रग रैकेट के सरगना डमटाल पुलिस क्षेत्राधिकार के भदरोया निवासी लखविंदर सिंह और उसका बेटा विशाल उर्फ शालू हैं। विशाल को नूरपुर पुलिस ने 1 फरवरी, 2023 को 1 किलो से अधिक हेरोइन और 1.04 करोड़ रुपये की ड्रग से कमाई गई रकम बरामद होने के बाद गिरफ्तार किया था। एक मुकदमे के दौरान उसे राज्य उच्च न्यायालय से जमानत मिल गई थी। जमानत मिलने के बाद से ही वह फरार है। वह कथित तौर पर दुबई भाग गया, जहां से उसने अपने पिता लखविंदर सिंह के साथ मिलकर एक अंतरराष्ट्रीय ड्रग सप्लाई नेटवर्क स्थापित किया।
शुरुआत में डमटाल पुलिस ने पिछले साल 27 अक्टूबर को अमृतसर जिले के छेहरटा निवासी कंवल जीत को 262 ग्राम हेरोइन के साथ गिरफ्तार किया था। उस पर इस अंतरराज्यीय सीमा क्षेत्र में मुख्य ड्रग सप्लायर होने का संदेह था। पुलिस ने एनडीपीएस एक्ट की धारा 21 के तहत दर्ज इस मामले की गहन जांच की। ड्रग तस्करी के आरोपियों से पूछताछ और जांच के बाद इस अंतरराष्ट्रीय ड्रग रैकेट का पर्दाफाश हुआ और इस रैकेट के छह सदस्यों को गिरफ्तार किया गया।
13 अप्रैल को भदरोया निवासी राज कुमार उर्फ सेठी (जिसके खिलाफ पहले से ही एनडीपीएस एक्ट और भारतीय शस्त्र अधिनियम के तहत छह मामले दर्ज थे) को गिरफ्तार करने के बाद पुलिस ने एक सप्ताह के भीतर इस ड्रग रैकेट के पांच सदस्यों को गिरफ्तार कर लिया।
एसपी नूरपुर अशोक रतन ने बताया कि मुख्य सरगना दुबई में रहने वाला विशाल एक स्थापित नेटवर्क के माध्यम से या तो ड्रोन के माध्यम से अमृतसर में गिराकर या परिवहन के अन्य साधनों के माध्यम से हेरोइन की तस्करी करता था। 8 अप्रैल को गिरफ्तार किए गए एक अन्य आरोपी अर्जुन नगर, छेहरटा (अमृतसर) का राजेश कुमार अमृतसर से प्रतिबंधित पदार्थ इकट्ठा करता था और इसे अर्जुन नगर, छेहरटा के आरोपी कमलजीत को पहुंचाता था, जो इस ड्रग नेटवर्क में कूरियर का काम करता था। कमलजीत दुबई से विशाल के निर्देश पर गुरदासपुर, पठानकोट और नूरपुर जिलों में विभिन्न स्थानों पर सिंथेटिक ड्रग्स पहुंचाता था। ‘शालू-बल्ली’ नाम का ड्रग तस्करी गिरोह अपने सदस्यों को ठोस परिस्थितिजन्य सबूतों से बचने के लिए ड्रग तस्करी की सूचनाओं के आदान-प्रदान के लिए वर्चुअल नेटवर्क प्लेटफॉर्म का सहारा ले रहा था,’ उन्होंने कहा।
उन्होंने कहा कि पुलिस इस अवैध व्यापार के माध्यम से आरोपियों द्वारा अर्जित सभी संपत्तियों की वित्तीय जांच शुरू करेगी और विहाल शालू को दुबई से वापस लाने का प्रयास करेगी।
एसपी ने बताया कि प्रारंभिक जांच में पता चला है कि गिरफ्तार आरोपी लखविंदर सिंह इस अवैध व्यापार से नशीले पदार्थों की कमाई जमा कर रहा था और भारी मात्रा में नकदी और कीमती आभूषणों को पठानकोट के साईंगढ़ निवासी एक अन्य गिरफ्तार आरोपी (स्वर्णकार) गगन सरना के पास सुरक्षित ठिकाने के रूप में रखता था।
उन्होंने बताया, “पुलिस ने 16 अप्रैल को उसके घर पर छापा मारा और उसके पास से 1.15 करोड़ रुपये नकद और 1.25 किलो सोने के आभूषण बरामद किए। इसके अलावा पुलिस ने पठानकोट के सुंदर नगर से गगन के 15 वर्षीय साथी मोहित सिंह उर्फ टोनी को भी गिरफ्तार किया है और उसके पास से 4.90 लाख रुपये नकद और 67.93 ग्राम सोने और 95.45 ग्राम चांदी के आभूषण बरामद किए हैं।”
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