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रांची में जमीन घोटाले को लेकर ईडी ने रिजॉर्ट में मारा छापा, कांके अंचल कार्यालय में खंगाले कागजात

ED raids resort in Ranchi regarding land scam, documents searched in Kanke zonal office

रांची, 10 जुलाई । ईडी ने रांची के जमीन घोटाले के जरिए मनी लॉन्ड्रिंग के केस में बुधवार को जमीन कारोबारी कमलेश कुमार के ठिकानों पर एक बार फिर छापेमारी की है। एजेंसी की टीमों ने चामा बस्ती और कांके रिजॉर्ट पहुंचकर जांच की और मौके पर मौजूद लोगों से पूछताछ की।

इसके अलावा कांके अंचल कार्यालय में भी कागजात खंगाले जा रहे हैं। कमलेश कुमार एजेंसी की ओर से बार-बार समन के बावजूद उपस्थित नहीं हो रहा है। ईडी ने 21 जून को भी कांके रोड के चांदनी चौक स्थित एस्टर ग्रीन अपार्टमेंट में कमलेश के फ्लैट पर छापेमारी की थी। इस दौरान करीब एक करोड़ कैश और 100 से ज्यादा कारतूस बरामद हुए थे।

कमलेश कुमार ने पिछले आठ-दस वर्षों में जमीन के कारोबार में अकूत कमाई की है। रांची के मशहूर कांके रिजॉर्ट में भी उसकी पार्टनरशिप बताई जाती है। कांके में बिरसा एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी की जमीन पर अवैध कब्जे के मामले में वह जेल जा चुका है। आरोप है कि उसने दस्तावेजों में हेरफर कर राज्य के कई पुलिस अफसरों को भी गलत तरीके से जमीन बेची थी।

एजेंसी को जानकारी मिली है कि उसने फर्जी डीड बनाकर कई ग्रामीणों की जमीन बेच दी है। बुधवार को एजेंसी ने चामा बस्ती में कुछ प्रभावित लोगों के बयान दर्ज किए हैं। ईडी ने रांची के जमीन घोटाले में फर्जी दस्तावेज बनाने के आरोपी प्रियरंजन सहाय, शेखर कुशवाहा समेत अन्य आरोपियों से पूछताछ की थी। उनके मोबाइल में कमलेश से चैट का ब्योरा और जमीन के फर्जी दस्तावेजों के आदान-प्रदान के साक्ष्य मिले थे। इसके बाद उसे कई बार समन भेजा गया, लेकिन वह हाजिर नहीं हुआ।

कमलेश मूल रूप से जमशेदपुर के सीतारामडेरा थाना क्षेत्र का निवासी है और लगभग डेढ़ दशक से रांची में रह रहा है। उसने कुछ वर्षों तक प्रेस फोटोग्राफर और इसके बाद क्राइम रिपोर्टर के रूप में काम किया। बाद में वह जमीन के धंधे से जुड़ गया।

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