प्रदूषण नियंत्रण मानदंडों का पालन न करने पर कड़ा संज्ञान लेते हुए राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (एसपीसीबी) ने कल शाम नालागढ़ उपमंडल के धीरोवाल के निकट मंझोली गांव में संचालित चार स्टोन क्रशरों के विद्युत कनेक्शन काट दिए।
ये क्रशर क्षतिग्रस्त प्रदूषण शमन उपकरणों के बावजूद चल रहे थे और वे विभिन्न मानदंडों का अनुपालन सुनिश्चित करने में विफल रहे थे। इसके अलावा, उनके संचालन की सहमति समाप्त हो गई थी और चूंकि वे निर्धारित मानदंडों को पूरा नहीं करते थे, इसलिए बोर्ड द्वारा इसे नवीनीकृत नहीं किया गया था। इसलिए, वे आसपास के क्षेत्र में प्रदूषण पैदा कर रहे थे।
बद्दी में बोर्ड के क्षेत्रीय अधिकारियों ने महीनों पहले एसपीसीबी के शिमला कार्यालय को बिजली कनेक्शन काटने के लिए उनके मामले की सिफारिश की थी। सदस्य सचिव ने कल शाम उनकी बिजली कनेक्शन काटने का आदेश दिया। यद्यपि चारों क्रशरों को अपने उपकरणों को दुरुस्त करने के लिए पर्याप्त समय दिया गया था, लेकिन वे अनुपालन सुनिश्चित करने में विफल रहे, जिसके कारण वायु (प्रदूषण निवारण एवं नियंत्रण) अधिनियम, 1981 और जल (प्रदूषण निवारण एवं नियंत्रण) अधिनियम, 1974 के तहत कार्रवाई की गई।
गौरतलब है कि हिमाचल उच्च न्यायालय ने भी नालागढ़ औद्योगिक क्षेत्र में संचालित अधिकांश स्टोन क्रशरों द्वारा पर्यावरण मानदंडों के उल्लंघन के मुद्दे को गंभीरता से लिया है। अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने के लिए मासिक अनुपालन रिपोर्ट अदालत के समक्ष प्रस्तुत करने के लिए कहा गया है कि निर्धारित मानदंडों का उल्लंघन नहीं किया गया है।