N1Live Punjab वैट वृद्धि का दूसरा पहलू, पंजाब के थोक डीजल खरीदार हिमाचल प्रदेश और जम्मू की ओर रुख कर रहे हैं
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वैट वृद्धि का दूसरा पहलू, पंजाब के थोक डीजल खरीदार हिमाचल प्रदेश और जम्मू की ओर रुख कर रहे हैं

पंजाब में पेट्रोल और डीजल पर मूल्य वर्धित कर में वृद्धि का दूसरा पहलू यह है कि डीजल के बड़े उपभोक्ता पड़ोसी राज्यों हिमाचल प्रदेश, जम्मू और चंडीगढ़ की ओर जा रहे हैं।

ट्रिब्यून द्वारा एकत्रित जानकारी से पता चलता है कि अधिकांश तेल विपणन कंपनियों ने जम्मू और हिमाचल प्रदेश में अपने डिपो से उपभोक्ता पंपों (ट्रांसपोर्टरों, बड़े उद्योगों जैसे थोक उपभोक्ताओं के लिए समर्पित पंप) को डीजल देना शुरू कर दिया है। इससे यह सुनिश्चित होता है कि उनके थोक उपभोक्ताओं को पंजाब में डीजल की दर से 5-7 रुपये प्रति लीटर सस्ता डीजल मिले।

इस बात से अवगत, पंजाब के वित्त एवं कराधान मंत्री हरपाल चीमा ने मंगलवार को कराधान अधिकारियों की एक बैठक बुलाई है, जिसमें पंजाब से डीजल की बिक्री को दूसरे राज्यों में स्थानांतरित करने से रोकने और सरकारी खजाने को होने वाले राजस्व नुकसान को रोकने के लिए समाधान खोजने की बात कही गई है। इस महीने की शुरुआत में पेट्रोल और डीजल की कीमत में 61 पैसे और 92 पैसे प्रति लीटर की बढ़ोतरी हुई थी।

पठानकोट, गुरदासपुर, होशियारपुर, नवांशहर, रोपड़, मोहाली और पटियाला के सीमावर्ती जिलों के खुदरा पंप मालिकों ने ट्रिब्यून को बताया कि उनके खुदरा ग्राहक पंजाब की सीमा से सटे चंडीगढ़, जम्मू और हिमाचल प्रदेश में स्थित पेट्रोल पंपों की ओर जा रहे हैं।

होशियारपुर के पेट्रोल पंप डीलर नवनीत कुमार ने दुख जताते हुए कहा, “राज्य सरकार वैट में वृद्धि से कोई अतिरिक्त राजस्व अर्जित नहीं कर रही है। बल्कि उसे राजस्व का नुकसान हो रहा है। वहीं, पेट्रोल पंप डीलरों का कारोबार भी खत्म हो रहा है।” उन्होंने कहा कि दोआबा में आलू और मटर उगाने वाले किसान भी, जो थोक में डीजल खरीदते हैं, उनसे डीजल नहीं खरीद रहे हैं। वे अब हिमाचल प्रदेश के डीलरों से डीजल खरीद रहे हैं।

होशियारपुर में डीजल की कीमत 87.50 रुपये प्रति लीटर है, जबकि हिमाचल प्रदेश के पड़ोसी ऊना में यह 85.77 रुपये प्रति लीटर पर उपलब्ध है। अमृतसर और तरनतारन में पेट्रोल पंप डीलरों का कहना है कि उन्हें कारोबार में नुकसान हो रहा है क्योंकि थोक डीजल ग्राहक जम्मू से ईंधन खरीद रहे हैं। दोनों जिलों में पेट्रोल पंप चलाने वाले सरबजीत लाली कहते हैं, “जिस दर से मेरी थोक डीजल बिक्री में गिरावट आ रही है, मुझे लगता है कि एक महीने में करीब 60,000 लीटर की बिक्री का नुकसान होगा।

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