September 13, 2025
National

जॉर्ज फर्नांडिस ने किया था वादा, कांग्रेस ने पूरा नहीं किया : किरेन रिजिजू ने बैराबी-सैरांग रेल लाइन को बताया ‘ऐतिहासिक’

George Fernandes had promised, Congress did not fulfill it: Kiren Rijiju calls Bairabi-Sairang railway line ‘historic’

पीएम नरेंद्र मोदी ने शनिवार को मिजोरम के लोगों को बड़ी सौगात दी। उन्होंने बैराबी-सैरांग रेल लाइन को हरी झंडी दिखाई। केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने इस दिन को ‘पूर्वोत्तर के लिए ऐतिहासिक’ बताते हुए याद दिलाया कि कैसे रेलवे विकास के वादे लंबे समय से अधूरे रहे।

प्रधानमंत्री ने मिजोरम में जिस 51.38 किलोमीटर लंबे बैराबी–सैरांग रेलवे प्रोजेक्ट का उद्घाटन किया, वह राज्य के लिए एक ऐतिहासिक उपलब्धि है। देश में रेलवे की शुरुआत को 172 से अधिक वर्ष हो चुके हैं। आइजोल अब औपचारिक रूप से भारत के रेलवे मानचित्र से जुड़ गया है। राज्य के लिए एक ऐतिहासिक मील का पत्थर साबित हुआ।

प्रधानमंत्री ने इस दौरान तीन नई ट्रेनों को भी हरी झंडी दिखाई, जिनमें सैरांग-आनंद विहार (दिल्ली) राजधानी एक्सप्रेस (साप्ताहिक), कोलकाता-सैरांग-कोलकाता एक्सप्रेस (हफ्ते में तीन बार), और गुवाहाटी-सैरांग-गुवाहाटी एक्सप्रेस (दैनिक) शामिल हैं।

इसकी सराहना करते हुए किरेन रिजिजू ने साल 1990 की एक वीडियो क्लिप अपने ‘एक्स’ अकाउंट पर साझा की, जिसमें वीपी सिंह सरकार के तत्कालीन रेल मंत्री जॉर्ज फर्नांडिस मणिपुर में रेलवे संपर्क बढ़ाने की योजनाओं पर चर्चा करते हुए नजर आ रहे हैं। फर्नांडिस ने तब कहा था, “हमारी योजना मणिपुर तक रेलवे ले जाने की है और उस पर कुछ काम शुरू भी हो गया है। जहां तक रिजर्वेशन का सवाल है, मैंने यह मामला मुख्यमंत्री के सामने उठाया है और अपनी पहल पर, इंफाल में एक रिजर्वेशन ऑफिस खोलने पर सहमति जताई है।”

रिजिजू ने ‘एक्स’ पर इस क्लिप को साझा करते हुए लिखा, “आज पूर्वोत्तर के लिए ऐतिहासिक दिन है। साल 1990 में रेल मंत्री जॉर्ज फर्नांडिस ने मणिपुर के लिए रेलवे की बात की थी। उसके बाद, कांग्रेस सरकार ने कुछ नहीं किया। अब पीएम मोदी ने पूर्वोत्तर में रेलवे का परिदृश्य बदल दिया है।”

बैराबी-सैरांग ब्रॉडगेज परियोजना को 2008-2009 में स्वीकृति मिली थी। पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे के तहत यह परियोजना 8,213.72 करोड़ रुपये की लागत से पूरी हुई है। यह परियोजना केंद्र की ‘एक्ट ईस्ट’ नीति का अहम हिस्सा है। इस नीति का उद्देश्य आइजोल को असम के सिलचर और फिर उसे देश के बाकी हिस्सों से जोड़ना है।

पीएम मोदी ने साल 2014 में इस परियोजना की आधारशिला रखी थी, जिसके बाद साल 2015 में इसका निर्माण कार्य शुरू हुआ। करीब एक दशक काम के बाद आखिरकार इस परियोजना का उद्घाटन हुआ।

लोगों को वर्चुअल माध्यम से संबोधित करते हुए, प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्र के निर्माण में मिजोरम के योगदान को रेखांकित किया। उन्होंने कहा, “चाहे स्वतंत्रता संग्राम हो या राष्ट्र निर्माण, मिजोरम के लोग हमेशा आगे आकर योगदान देते रहे हैं। बलिदान और सेवा, साहस और करुणा, ये मूल्य मिजो समाज के केंद्र में हैं।”

प्रधानमंत्री ने आगे कहा, “आज मिजोरम भारत की विकास यात्रा में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। यह देश के लिए, खासकर मिजोरम के लोगों के लिए ऐतिहासिक दिन है। आज से आइजोल भारत के रेलवे मानचित्र पर होगा। कुछ वर्ष पहले मुझे आइजोल रेलवे लाइन की आधारशिला रखने का अवसर मिला था और आज हम गर्व से इसे राष्ट्र की जनता को समर्पित कर रहे हैं।”

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