नगर एवं ग्राम नियोजन विभाग, कुरुक्षेत्र की एक टीम ने मिर्जापुर गांव में विकसित की जा रही एक अनाधिकृत कॉलोनी में तोड़फोड़ अभियान चलाया।
जानकारी के अनुसार, 5.5 एकड़ भूमि पर एक अनधिकृत कॉलोनी विकसित की जा रही थी और भूमि मालिक और प्रॉपर्टी डीलर निर्माण कार्य शुरू करने से पहले विभाग से आवश्यक अनुमति लेने में विफल रहे।
कुरुक्षेत्र जिला नगर योजनाकार (डीटीपी) विक्रम कुमार ने बताया, “अनधिकृत कॉलोनी विकसित करने का मामला सामने आने के बाद भूमि मालिकों और प्रॉपर्टी डीलरों को नोटिस जारी किए गए थे। उन्हें अनुमति लेने के लिए कहा गया था, लेकिन उन्होंने निर्माण कार्य नहीं रोका और विभाग से अनुमति भी नहीं ली। उपायुक्त के निर्देश के बाद तोड़फोड़ अभियान चलाया गया। तोड़फोड़ अभियान के दौरान मिर्जापुर गांव की एक कॉलोनी में कच्ची सड़कें, नमीरोधी कोर्स (डीपीसी) और एक अनधिकृत निर्माण को ध्वस्त किया गया।”
डीटीपी ने कहा, “लोगों को सस्ते प्लॉट के नाम पर प्रॉपर्टी डीलरों के बहकावे में आकर प्लॉट नहीं खरीदना चाहिए और न ही कोई निर्माण कार्य करना चाहिए। उन्हें अपनी कमाई का पैसा निवेश करने से पहले टाउन एंड कंट्री प्लानिंग विभाग से प्रॉपर्टी के बारे में पूरी जानकारी लेनी चाहिए। तहसीलदार और नायब तहसीलदारों को भी किसी भी प्रॉपर्टी की रजिस्ट्री करने से पहले सरकार द्वारा जारी दिशा-निर्देशों का पालन करना चाहिए।”
उन्होंने कहा कि यदि कोई व्यक्ति अवैध कॉलोनी में प्लाट खरीदता है तो उसके खिलाफ डीटीपी कार्यालय द्वारा कार्रवाई की जाएगी, क्योंकि इसमें 50 हजार रुपये जुर्माना व 3 साल की सजा का प्रावधान है। ग्रुप हाउसिंग स्कीम में दीनदयाल आवास योजना व अफोर्डेबल ग्रुप हाउसिंग स्कीम के तहत 5 एकड़ भूमि पर लाइसेंस प्रदान किया गया है, जिसमें कॉलोनी विकसित करने के लिए आवश्यक अनुमति प्राप्त की जा सकती है।