नई दिल्ली, ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री डेविड कैमरन सोमवार को उन वैश्विक नेताओं में शामिल हो गए जो भारत को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) में स्थायी सीट दिलाने का समर्थन कर रहे हैं। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि दुनिया को कई बड़ी चुनौतियों पर भारत का नजरिया सुनने की जरूरत है।
कैमरन ने सोमवार को नई दिल्ली में शुरू हुए दो दिवसीय एनडीटीवी वर्ल्ड समिट में कहा, “हमें एक रीसेट की जरूरत है। दूसरे विश्व युद्ध के बाद संस्थाओं की स्थापना से दुनिया में बड़ा बदलाव आया है। यह रीसेट का समय है, आप भारत का उदय देख रहे हैं, जो इस सदी में कभी न कभी दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगा।”
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा ‘एनडीटीवी वर्ल्ड समिट 2024 – द इंडिया सेंचुरी’ का उद्घाटन करने के तुरंत बाद बोलते हुए कैमरन ने कहा कि वह ‘इंडिया सेंचुरी’ में विश्वास रखने वाले शुरुआती लोगों में से रहे हैं।
कैमरन ने कहा, “हमें संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में सुधार की जरूरत है। मैंने यह तर्क 2005 में ही दे दिया था, जब मैं कंजर्वेटिव पार्टी का नेता बना था और भारत यूरोप के बाहर पहला देश था, जिसका मैंने दौरा किया था। इसी तरह जब मैं प्रधानमंत्री बना, तो 2010 में यूरोप के बाहर पहला देश, भारत था जहां मैं गया…जाहिर है, संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में स्थायी सीट ऐसी चीज है, जो इस बदली हुई दुनिया में भारत का अधिकार है।”
कैमरन 11 मई 2010 से 13 जुलाई 2016 तक यूके के पीएम रहे।
पिछले महीने संयुक्त राष्ट्र महासभा की उच्च स्तरीय बैठक में ब्रिटेन के प्रधानमंत्री कीर स्टारमर ने भी कुछ ऐसी ही बात कही थी। उन्होंने पुनर्गठित सुरक्षा परिषद में स्थायी सदस्य के रूप में भारत को शामिल करने, साथ ही अफ्रीकी देशों, ब्राजील, जापान और जर्मनी को स्थायी प्रतिनिधित्व देने और निर्वाचित सदस्यों के लिए अधिक सीटों का समर्थन किया था।
भारत की यूएनएससी में स्थायी सदस्यता की मांग को, जो बाइडेन सहित अन्य वैश्विक नेताओं का समर्थन मिला है। अमेरिकी राष्ट्रपति ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ अपनी हालिया द्विपक्षीय बैठक के दौरान भारत की दावेदारी के लिए वाशिंगटन के पूर्ण समर्थन को दोहराया।
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