भाजपा के वरिष्ठ नेता बाबूलाल मरांडी ने कांग्रेस को निशाने पर लेते हुए कहा कि वंदे मातरम में कांट-छांट करने की वजह से ही हिंदुस्तान के दो टुकड़े हुए। भाजपा के वरिष्ठ नेता का यह बयान संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान 10 घंटे की वंदे मातरम पर हुई चर्चा के बाद आया है।
रांची में मीडिया से बातचीत के दौरान भाजपा नेता ने कहा कि आजादी से पहले भी वंदे मातरम सहित कई चीजों में इसी तरह की काट-छांट की गई थी। उन्होंने झारखंड का जिक्र करते हुए कहा कि प्रदेश के कई इलाकों में सरस्वती पूजा होती है तो पत्थरबाजी शुरू हो जाती है। सार्वजनिक रास्तों पर मूर्ति विसर्जन को लेकर प्रतिबंध लगाया जाता है। यह अब नहीं चलने वाला है।
बाबूलाल मरांडी ने कहा कि वंदे मातरम गीत में कांट-छांट के कारण ही देश के दो टुकड़े हुए। संसद में हुई वंदे मातरम की चर्चा के दौरान कई विपक्षी सांसदों ने वॉकआउट किया। भाजपा नेता ने विपक्षी सांसदों को निशाने पर लेते हुए कहा कि मैं भाषण सुन रहा था, मैंने देखा कि आज भी कई विपक्षी सांसद खुलेआम कह रहे हैं कि हम वंदे मातरम नहीं गाएंगे। देश में अब यह नहीं चलने वाला है।
उन्होंने कहा कि राहुल गांधी और इंडी गठबंधन वाले दिन-रात संविधान और सेक्युलरिज्म की बात करते हैं, लेकिन बहस में हिस्सा नहीं लेते हैं। वे हमारे मंदिर में दीपक जलने नहीं देंगे, भजन-कीर्तन नहीं होने देंगे। यह अब और नहीं चलेगा। मैं मांग करता हूं कि वंदे मातरम और अन्य प्रतीकों के सम्मान पर पूरे देश में खुली बहस होनी चाहिए।
भाजपा के वरिष्ठ नेता ने कहा कि वंदे मातरम ने आजादी के आंदोलन को स्वर और शक्ति दी। इस जयघोष ने हर भारतीय के मन में मातृभूमि के लिए समर्पण और साहस जगाया। राष्ट्रभक्ति का यह संदेश आज भी राष्ट्रीय चेतना को ऊर्जावान बनाता है। तुष्टिकरण की राजनीति के दबाव में कांग्रेस वंदे मातरम के बंटवारे के लिए झुकी, इसलिए कांग्रेस को एक दिन भारत के बंटवारे के लिए झुकना पड़ा।

