नई दिल्ली, 26 जुलाई । कारगिल विजय दिवस की पूर्व संध्या पर राष्ट्रीय राजधानी में एक मशाल रैली का आयोजन किया गया। इसमें केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री और भाजपा अध्यक्ष जे.पी. नड्डा भी शामिल हुए।
भाजपा अध्यक्ष ने कहा, “मेरा सौभाग्य है कि इस ऐतिहासिक और बहुत ही दूरगामी प्रभाव छोड़ने वाले कार्यक्रम में आप सभी के साथ शामिल होने का सौभाग्य मिला। आज से 25 साल पहले हमने कारगिल पर विजय हासिल की थी और भारत के सम्मान की रक्षा की थी। हम कारगिल विजय दिवस को रजत जयंती के रूप में मनाएंगे।”
उन्होंने कहा, “विपरीत परिस्थिति में हमारे फौज के जवानों ने कारगिल की लड़ाई लड़ी थी। दुश्मन पहाड़ की चोटी पर था और हमारे वीर जवानों को नीचे से पहाड़ चढ़कर उस चोटी पर कब्जा करना था। हम कल उन वीर सपूतों को याद करेंगे, जिनके शौर्य और बलिदान के कारण कारगिल विजय मिली और जो पाकिस्तान ने भारत पर कुत्सित निगाहें डाली थीं, उनके इरादों को हमारे जवानों ने चकनाचूर करने का काम किया।”
उन्होंने आगे कहा कि “जब कारगिल का युद्ध हुआ था, उस समय इस कार्यक्रम में बैठे अधिकतर लोग दो साल या चार साल के रहे होंगे। बहुत सारे ऐसे युवा साथी भी हैं, जो शायद उस समय दुनिया में आए भी नहीं होंगे। कारगिल दिवस को हम इस रूप में मनाकर हमारे वीर सपूतों को सम्मान देने का कर रहे हैं।”
जे.पी. नड्डा ने बताया कि जब कारगिल का युद्ध चल रहा था, तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उस समय उत्तर भारत में महामंत्री के रूप में भाजपा के प्रभारी थे। उन्होंने कारगिल जाकर भाजपा के प्रतिनिधि के रूप में जवानों को शाबाशी दी थी और उनका हौसला बढ़ाया था।
केंद्रीय मंत्री ने तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के वक्तव्य को याद किया। उन्होंने कहा, “उस दौरान अटल बिहारी वाजपेयी जी ने कहा था कि जो भी शहीद होगा, उसकी शहादत किसी परिवार की नहीं होगी, वह शहादत किसी इलाके की नहीं होगी बल्कि देश की शहादत मानी जाएगी। पूरे सम्मान के साथ उनको लाया जाएगा और पूरे सम्मान के साथ उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा।”
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