April 9, 2025
National

कुरुक्षेत्र जिला प्रशासन ने बीर मथाना गांव में रात्रि विश्राम कार्यक्रम आयोजित किया

Kurukshetra district administration organized night stay program in Bir Mathana village

उपायुक्त नेहा सिंह ने कहा कि जो ग्रामीण 20 वर्षों से पंचायती जमीन पर काबिज हैं, वे 2004 के कलेक्टर रेट पर भुगतान कर अपनी जमीन की रजिस्ट्री करवा सकेंगे। सरकारी योजना की पात्रता पूरी करने वाले ग्रामीणों को लाभ दिया जाएगा।

उपायुक्त ने बीड़ मथाना गांव में रात्रि ठहराव के दौरान जिला राजस्व अधिकारी को निर्देश दिए कि वे गांव में सर्वे करवाकर ऐसे लोगों की पहचान करें तथा पात्र लोगों को लाभ प्रदान करें।

इस अवसर पर पुलिस अधीक्षक वरुण सिंगला सहित कई विभागों के अधिकारी मौजूद थे। विभिन्न सरकारी विभागों ने अपने-अपने स्टॉल लगाकर लोगों को विभिन्न सरकारी योजनाओं के बारे में जागरूक किया। रात्रि विश्राम के दौरान वृद्धावस्था पेंशन, बिजली, पानी, गली, नाली, सड़क निर्माण, बीपीएल राशन कार्ड, आयुष्मान कार्ड, आवास योजना से संबंधित करीब 80 शिकायतें सुनी गईं।

कुलदीप कौर की शिकायत पर डीसी ने जनस्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग को जलापूर्ति की समस्या का समाधान करने के निर्देश दिए तथा अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे यह सुनिश्चित करें कि गर्मियों के दौरान पानी की कमी न हो।

इस अवसर पर गांव में बंद नाली, बिजली आपूर्ति, गली निर्माण, परिवार पहचान पत्र, बीपीएल राशन कार्ड तथा सीसीटीवी कैमरे लगाने से संबंधित शिकायतों के संबंध में भी निर्देश दिए गए।

उपायुक्त ने कहा कि सरकार द्वारा चलाई जा रही आवास योजना के तहत सर्वे करवाया जाएगा तथा पात्र आवेदकों को योजना का लाभ दिया जाएगा। नेहा सिंह ने कहा कि गांव में जो बुजुर्ग 60 वर्ष से अधिक उम्र के हैं और उनकी वृद्धावस्था पेंशन नहीं बनी है, वे अपनी जानकारी सरपंच को दें।

डीसी ने सरपंच को निर्देश दिए कि वे पेंशन के लिए पात्र सभी व्यक्तियों की सूची तैयार कर ऑनलाइन आवेदन भरवाएं तथा आय, आयु प्रमाण पत्र, बैंक खाता व अन्य जरूरी दस्तावेज परिवार पहचान पत्र में अपडेट करवाएं। साथ ही सरपंच को यह सूची डीसी कार्यालय में भेजने के लिए कहा ताकि उनकी समस्या का जल्द से जल्द समाधान किया जा सके।

डीसी ने ग्रामीणों को बताया कि गांव में सामुदायिक केंद्र के निर्माण के लिए बजट 2.23 करोड़ रुपये से बढ़ाकर 3.5 करोड़ रुपये कर दिया गया है।

नेहा सिंह ने कहा कि ग्रामीणों को अक्सर अपनी समस्याओं और शिकायतों को लेकर अधिकारियों के पास जाना पड़ता था, लेकिन आज सभी विभागों के अधिकारियों सहित पूरा प्रशासन ग्रामीणों के बीच बैठकर उनकी समस्याओं को सुन रहा था। अधिकारियों को शिकायतों का समाधान कर एक सप्ताह के भीतर अपनी कार्रवाई रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए हैं।

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